शुक्रवार को शबाना आज़मी और जावेद अख्तर को हर किसी से सराहना मिली जब दोनों ने पाकिस्तान में होने वाले दो-दिवसीय साहित्य समारोह जो शबाना के पिता कवि कैफ़ी आज़मी के ऊपर होने वाला था, उसका निमंत्रण रद्द कर दिया और उसकी वजह थी, कश्मीर के पुलवामा में होने वाला आतंकी हमला जिसमे हमारे 44 जवान शहीद हो गए।
हालाँकि, कंगना रनौत को उनका ये कदम कुछ ख़ास जमा नहीं जिन्होंने शबाना पर देशद्रोह का आरोप लगा दिया। उन्होंने कहा कि शबाना पाकिस्तान में सांस्कृतिक समारोह करवा कर दुश्मनों का हौंसला बढ़ा रही हैं।
उनके मुताबिक, “शबाना आज़मी जैसे लोग जो सांस्कृतिक आदान-प्रदान पर रोक लगा रहे हैं-वही लोग हैं जो ‘भारत तेरे टुकड़े होने’ गैंग को बढ़ावा देते हैं। पहली बात उन्होंने समारोह को कराची में आयोजित क्यों करवाया जब उरी हमले के बाद से पाकिस्तानी कलाकारों पर प्रतिबन्ध लगा दिया गया है? और अब वे चेहरा बचाने की कोशिश कर रहे हैं? फिल्म इंडस्ट्री ऐसे देशद्रोही लोगो से भरी हुई है जो दुश्मनों का कई मायनों में हौंसला बढ़ाते हैं मगर अब निर्णायक कार्यवाही पर ध्यान देने का समय आ गया है, पाकिस्तान प्रतिबन्ध फोकस नहीं है, पाकिस्तान की तबाही फोकस है।”
कंगना जिन्होंने आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद द्वारा किये गए हमले के बाद, अपनी फिल्म ‘मणिकर्णिका:द क्वीन ऑफ़ झाँसी‘ की सफलता पार्टी को भी रद्द कर दिया है, उन्होंने आगे कहा-“पाकिस्तान ने केवल हमारे देश की सुरक्षा को नहीं तोड़ा है, उन्होंने खुलकर डरा कर और बेइज्जत कर, हमारी गरिमा पर भी हमला किया है। हमें निर्णायक कार्यवाही करनी ही होगी वर्ना हमारी चुप्पी को हमारी कायरता समझ लिया जाएगा। भारत का आज खून बह रहा है, हमारे बेटों को मारना हमारी हिम्मत में खंजर घौंपने जैसा है। जो भी इस समय अहिंसा और शांति का भाषण दे रहा है उसपर कालिख पोत देनी चाहिए, गधे पर बिठाकर, सड़क पर ले जेकर सबके हाथों से थप्पड़ पड़ने चाहिए।”
हाल ही में इन.कॉम को दिए इंटरव्यू में, शबाना ने कंगना की टिपण्णी पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा-“क्या आपको सच में लगता है कि ऐसे समय में मुझ पर व्यक्तिगत हमला करने का कोई महत्त्व है जब पूरा देश एक साथ खड़ा हो कर शोक मना रहा है और इस डरपोक पुलवामा हमले की निंदा कर रहा है? भगवान उसे आशीर्वाद दे।”