प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जिन्होंने 2014 में वाराणसी से लोक सभा में कदम रखा था, वे आगामी आम चुनाव में भी उसी सीट से लड़ेंगे। भाजपा के कुछ सूत्रों ने इस खबर की पुष्टि की। और दिलचस्प बात ये है कि ये फैसला तब आया जब वाराणसी कांग्रेस इकाई ने सर्वसम्मति से एक प्रस्ताव पारित किया जिसमें उत्तर प्रदेश (पूर्व) के महासचिव प्रियंका गांधी को मोदी के खिलाफ खड़ा करने की मांग की गई।
हालांकि उन्होंने ये भी कहा कि पीएम मोदी के वडोदरा से दूसरी सीट पर लड़ने का फैसला तब लिया जाएगा जब भाजपा के चुनावी अभियानों में प्रगति देखने के लिए मिलेगी।
2014 में, मोदी ने वाराणसी की लोक सभा सीट, आप संयोजक अरविन्द केजरीवाल को 3.37 लाख मत के बड़े अंतर के साथ हराकर हासिल की थी। इस निर्वाचन क्षेत्र में ये सबसे ज्यादा दर्ज़ की गयी थी।
और आम आदमी पार्टी ने पहले ही घोषणा कर दी थी कि केजरीवाल इन चुनावों में वाराणसी से नहीं लड़ेंगे क्योंकि वे विशेष ध्यान दिल्ली पर देना चाहते हैं।
इस दौरान, प्रियंका गाँधी वाड्रा के राजनीती में कदम रखने के एक दिन बाद, वाराणसी में उनके क्षेत्र से चुनाव लड़ने के पोस्टर भी लग गए हैं।
लहुराबीर इलाका में कुछ युवा कांग्रेस कार्यकर्त्ता ने मार्च कर हर जगह यही नारा फैला दिया है-‘काशी की जनता करे पुकार, प्रियंका गाँधी हो सांसद हमार’। पिछले चुनाव में क्षेत्र से लड़ने वाले कांग्रेस नेता अजय राय ने कहा-“कांग्रेस कार्यकर्ता उन्हें मंदिर शहर निर्वाचन क्षेत्र से चुनाव जिताने के लिए तैयार हैं। अगर वह यहां से चुनाव लड़ती है, तो इसका असर पड़ोसी राज्यों में भी महसूस किया जाएगा।”
खबरें तो ये भी हैं कि पाटीदार नेता हार्दिक पटेल भी वाराणसी से चुनाव लड़ सकते हैं। पिछले साल, उन्होंने शहर का काफी दौरा भी किया था। हालांकि अभी पिछले ही दौरे पर उन्होंने कहा था कि उन्होंने अभी तक वाराणसी से लड़ने का फैसला तो नहीं लिया है मगर अपने समुदाय के फैसले तहत ही जाएँगे।