लीबिया में विद्रोहियों के कमांडर खलीफा हफ्तार की लिबयन नेशनल आर्मी ने गुरूवार रात को त्रिपोली के हवाईअड्डे पर हमला किया था। अप्रैल में हफ्तार की सेना द्वारा आक्रमक रवैये के बाद देश के हालात काफी नाजुक बने हुए हैं। संयुक्त राष्ट्र द्वारा समर्थित गवर्मेंट ऑफ़ नेशनल एकॉर्ड और हफ्तार की सेना के बीच संघर्ष जारी है।
गुरूवार को लगातार दूसरी रात एलएनए ने एयरपोर्ट पर हमला किया था। एलएनए ने बयान में बताया कि उनकी सेना ने तुर्की के विमान को निशाना बनाया था। जबकि एलएनए समर्थित मिस्र और यूएई की सरकार ने तुर्की पर जीएनए और उसकी सेना का त्रिपोली में समर्थन करने का आरोप लगाया था।
पहली रात हवाई हमले के बावजूद एयर ट्रैफिक को जारी रखा गया था। लीबिया के तानाशाह मुअम्मर गद्दाफी की मौत के बाद लीबिया दो भागो में विभाजित हो गया था। एलएनए का लीबिया के पूर्वी भागो पर नियंत्रण है जबकि यूएन समर्थित सरकार का त्रिपोली से लेकर पश्चिमी क्षेत्र पर नियंत्रण है।
संघर्ष के शुरू होने के साथ ही 90000 से अधिक लोग विस्थापित हो गए थे जबकि 500 लोगो ने अपनी जान गंवाई है। अंतर्राष्ट्रीय समुदाय ने इस तीव्र संघर्ष का शांतिपूर्ण समाधान निकालने का आग्रह किया है। अमेरिका की सरकार शुरुआत में यूएन समर्थित सरकार का समर्थन करती थी लेकिन उनके अब खलीफा हफ्तार के साथ भी संपर्क है।
विश्व स्वास्थ्य संघठन ने ट्वीट कर बताया कि “त्रिपोली संकट में मृतकों का आंकड़ा बढ़कर 607 बढ़ गया है और इसमें 40 नागरिक भी शामिल है और 3261 लोग जख्मी हुए हैं जिसमे 117 नागरिक है।”