भारत के राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने रविवार को भारतीय समुदाय को चिली में सम्बोधित किया और कहा कि भारतीय समाज ने चिली को बेहतर तरीके से एकजुट किया है और भारत के लिए एक बेहतर प्रतिष्ठा की नींव रखी है। राष्ट्रपति कोविंद ने कहा कि “आपने यहां अपनी संस्कृति की जड़ो और लोकाचार को जीवित रखा है। हमारी सरकार द्वारा दूतावास के जरिये आयोजित पहल और सम्मिलित होने में हमें आपकी अहमियत का अंदाजा है। ऐसी बातचीत हमारे और आपके बीच साझेदारी का विश्लेषण करती है। ऐसी साझेदारी न सिर्फ संयुक्त हित के लिए जरुरी है बल्कि भविष्य की नींव भी इसी से रखी जाती है।”
उन्होंने कहा कि “साझा मूल्यों के लिए योजना और साझेदारी के लिए शुक्रिया करते हैं। चिली और चिली की जनता को बेहतर समझने के लिए अपने हमारा प्रतिनिधित्व किया है। चिली कई कारणों से महत्वपूर्ण है, मैं चिली की यात्रा करने वाला तीसरा राष्ट्रपति हूँ। चिली-भारत की कूटनीतिक रिश्तेदारी की 70 वीं वर्षगांठ है, भारत के संविधान के 70 वर्ष पूरे होंगे, महात्मा गाँधी की 150 वीं वर्षगांठ और गुरुनानक देव की 550 वीं सालगिरह है।”
राष्ट्रपति कोविंद ने कहा कि “शाम को चिली की राजधानी में महात्मा गाँधी की प्रतिमा को वह श्रद्धांजलि अर्पित करेंगे और कल वह महात्मा गाँधी के जीवन पर चिली यूनिवर्सिटी में भाषण देंगे। विश्व में जैसे आतंकवाद, हिंसा और लालच की नकारात्मक तकते बढ़ती जा रही है, वैसे ही शान्ति और सहिष्णुता के गुरुनानक और महात्मा गाँधी के सन्देश प्रासंगिक होते जा रहे हैं। चिली में साल 2017 के अंत में चुनाव हुए थे, जबकि भारत 70 वे लोकसभा चुनावों के मुहाने पर खड़ा है। 900 मिलियन मतदाता अपने मत का प्रयोग करेंगे, जो धरती पर सबसे बड़ा लोकतंत्र होगा।”
उन्होंने कहा कि “साल 2022 में भारत स्वतंत्रता की 75 वीं वर्षगांठ का आयोजन करेगा। समृद्ध 21 शतबदी के नए भारत के लिए परिवर्तनशील सफर कर रहा है। भारत सरकार ने कई योजनाओं को लागू किया है, मसलन मेक इन इंडिया, डिजिटल इंडिया, अमरत सिटीज, गुड्स एंड सर्विस टैक्स, उज्जवला योजना और अन्य है, जिनका मकसद आर्थिक वृद्धि को बढ़ाना और सामाजिक बदलाव है।”
Paid tributes to Mahatma Gandhi at the Plaza de la India. Grateful to the people of Chile for giving Gandhiji a home in the heart of Santiago #PresidentKovind pic.twitter.com/eK0PiExprl
— President of India (@rashtrapatibhvn) April 1, 2019
राष्ट्रपति ने कहा कि “104 मिसाइल का एक अभियान में लांच और सफलतापूर्वक मंगलयान मिशन से विज्ञान और तकनीक के क्षेत्र में हमने सार्थक उपलब्धि हासिल की है। हमने अंतरिक्ष में काफी महत्वपूर्ण कार्य किया है और अब हम मिशन गगनयान की तरफ बढ़ रहे हैं। विकास और प्रगति में बाहरी भारतीय नागरिकों का योगदान अमूल्य है। हम आपके योगदान की सराहना करते हैं और आपकी सफलता और उपलब्धियों को संजोते हैं।”
राष्ट्रपति कोविंद ने कहा कि “वह कल चिली में अपने समकक्षी से मुलाकात करेंगे। उम्मीद जताई कि इसमें फलदायी वार्ता होगी जो दोनों देशों के द्विपक्षीय समबन्धों के लिए फायदेमंद साबित होगी। पहली वार्ता में हमने अंतरिक्ष से स्वास्थ्य तक के संयुक्त हितो पर चर्चा कर ली है।”
रामनाथ कोविंद नें आगे कहा, “जब भी अपने प्रवासी भारतीयों को किसी भी प्रकार की मदद की आवश्यकता होती है, हम सदा अपने लोगों के साथ खड़े होते हैं। विदेशों में प्राकृतिक आपदा, हिंसा एवं संघर्ष में फंसे 90,000 से ज्यादा भारतीयों को पिछले चार वर्षों में हमने सुरक्षित निकाला है। और मैं आपको भविष्य के लिए भी निश्चिंत करना चाहूँगा कि जब भी आपको हमारी मदद की जरुरत होगी, हम सदा आपके साथ रहेंगे।”
“एक और अनुरोध मैं आपसे करता हूँ कि आप अपने घर पर अपने परिवार से अपनी भाषा में बात करें चाहे वह हिन्दी हो, सिन्धी हो या तेलगु या तमिल हो जो कि आपको अपनी जगह व सभ्यता से जोड़े रख सके। आप सभी से विदा लेने से पहले, मैं आप सभी को राष्ट्रपति भवन को देखने के लिए आमन्त्रित करता हूँ। हाँ, यह मेरे लिए कार्यालय सह आवास है परन्तु यह ऐतिहासिक भवन आप सभी भारतीयों एवं अन्य पर्यटकों के लिए सदैव खुला है इसलिए हमारी विरासत व लोकतान्त्रिक मूल्यों को जानने के लिए आप सभी का राष्ट्रपति भवन में स्वागत है।” इन शब्दों के साथ राष्ट्रपति कोविंद नें अपने भाषण को विराम दिया।
राष्ट्रपति के तीन देशों के दौरे की जानकारी
राष्ट्रपति कोविंद पिछले महीने क्रोएशिया, बोलीविया और चिली तीन देशों के दौरे के लिए रवाना हुए थे। यह भारत के इतिहास में पहली बार है जब एक भारतीय राष्ट्रपति इन तीनों देश के दौरे पर हो।
राष्ट्रपति कोविंद के इस दौरे के जरिये भारत की कोशिश है कि दक्षिणी अमेरिका में मौजूद देशों से भारत के रिश्तों को मजबूत किया जा सके।
राष्ट्रपति कोविंद नें यहाँ 20 से ज्यादा समझौतों पर हस्ताक्षर किये हैं। इनमें मुख्य रूप से शिक्षा, सुरक्षा, अंतरिक्ष, विज्ञान आदि विषय शामिल हैं।
राष्ट्रपति तीन राष्ट्रों के दौरे के दूर चरण में चिली की यात्रा पर हैं। इससे पूर्व की यात्रा में भारत और बोलीविया ने आठ समझौतों पर हस्ताक्षर किये थे। इसमें संस्कृति, राजनयिक वीजा, अंतरिक्ष, मेडिसिन और अन्य शामिल है।