उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में बेहतर सफलता करने के बाद भाजपा ने निकाय चुनाव में भी जबरदस्त प्रदर्शन किया है। यूपी में नगर निगम की संख्या बढ़ने के बावजूद भी बीजेपी पिछली बार की तरह केवल दो सीटों पर हारी है। वहीं बीजेपी ने 16 नगर निगम में से 14 सीटों पर भाजपा ने जीत हासिल की है। वहीं नगर पालिका और नगर पंचायत सीट पर भी बीजेपी को भारी बढ़त मिली है। इससे यह स्पष्ट हो गया है कि मुख्यमंत्री योगी का वर्चस्व अभी भी जनता के बीच बरक़रार है।
दूसरी तरफ पहली बार निकाय चुनाव में पार्टी सिम्बल पर उतरी बहुजन समाजवादी पार्टी ने कड़ी टक्कर दी है। वहीं पार्टी ने दो नगर निगम सीट पर अपने जीत का परचम लहराया है। बहुजन समाजवादी पार्टी ने अलीगढ और मेरठ में जीत हासिल की है।
इस बार उत्तर प्रदेश में चार नए नगर निगम को शामिल किया गया है। पहले इसकी संख्या 12 थी, जिसमे बीजेपी ने 10 सीटों पर अपना कब्ज़ा जमाये हुई थी। लेकिन इस बार सहारनपुर, मथुरा, फिरोजाबाद और अयोध्या को नगर निगम में शामिल किया है। जिससे नगर निगम की संख्या 12 से बढ़कर 16 हो गई है। लेकिन भाजपा ने पिछली बार की तरह दो सीटें छोड़ कर बाकि सीटों पर अपना कब्ज़ा जमा लिया है।
नगर निगम महापौर के रिजल्ट
1 – गोरखपुर – सीताराम जायसवाल, भाजपा
2 – गाजियाबाद – आशा शर्मा, भाजपा
3 – लखनऊ – संयुक्त भाटिया, भाजपा
4 – फिरोजाबाद – नूतन राठौर, भाजपा
5 – वाराणसी – मृदुला जायसवाल, भाजपा
6 – सहारनपुर – संजीव वालिया, भाजपा
7 – इलाहाबाद – अभिलाषा गुप्ता, भाजपा
8 – आगरा – नविन जैन, भाजपा
9 – झाँसी – रामतीर्थ सिंघल, भाजपा
10 – मेरठ – सुनीता वर्मा, बहुजन समाजवादी पार्टी
11 – मथुरा – मुकेश आर्य बंधू, भाजपा
12 – अलीगढ – मोहम्मद फुरकान, बहुजन समाजवादी पार्टी
13 – अयोध्या – ऋषिकेश उपाधयाय, भाजपा
14 – मुरादाबाद – विनोद अग्रवाल, भाजपा
15 – बरेली – उमेश गौतम, भाजपा
16 – कानपूर – प्रमिला पांडेय, भाजपा
नगर निगम पार्षद (कुल सीटें 1300)
भारतीय जनता पार्टी – 592
बहुजन समाजवादी पार्टी – 147
कांग्रेस – 110
समाजवादी पार्टी – 45
अन्य – 19
निर्दलीय – 222
नगर पालिका परिषद् अध्यक्ष (कुल सीटें 198)
बहुजन समाजवादी पार्टी – 27
भारतीय जनता पार्टी – 67
समाजवादी पार्टी – 45
कांग्रेस – 9
निर्दलीय – 42
नगर निगम पंचायत (कुल सीटें 438)
सपा – 83
भाजपा – 100
बसपा – 45
कांग्रेस – 17
अन्य – 10
निर्दलीय – 181
अगर इन नतीजों की तुलना 2012 के नगर निगम चुनाव से की जाये तो इस चुनाव में भाजपा को काफी ज्यादा बढ़त हासिल हुई है। पिछली बार 12 महापौर के लिए चुनाव हुए थे, जिसमे बीजेपी ने 10 सीटों पर अपना कब्ज़ा जमाया था। जबकि दो सीटें निर्दलीय उमीदवार ने जीता था। वहीं 12 नगर निगम चुनाव में पार्षद की 980 सीटों में से भाजपा ने 304 पर अपनी जीत दायर की थी।
नगर पालिका अध्यक्ष पद की बात की जाए तो 2012 में इस पर भी बीजेपी सबसे बड़े राजनीतिक दल के रूप में उभरी थी। कुल 194 नगर पालिका अध्यक्षों की सीट में से बीजेपी ने 42 अपने नाम कर ली थी। जबकि 130 सीटों पर निर्दलीय और अन्य राजनितिक दलों ने जीत हासिल किया था। लेकिन इस बार बीजेपी ने 198 सीटों में से 67 पर अपना कब्ज़ा जमाया है। जो की भाजपा के लिए एक बड़ी बढ़त मानी जा रही है।
नगर पंचायतों की बात की जाए तो 2012 में बीजेपी ने कुल 423 सीटों में से 36 पर जीत दर्ज की थी. इस बार कुल 438 सीटों में जीत का ये आंकड़ा 100 पहुंच गया है। 2017 नगर निगम चुनाव में बीजेपी को बड़ी जीत हासिल हुई है। जो पिछली चुनाव की अपेक्षा ज्यादा है।