टाटा मोटर्स ने भारत में बिजली से चलने वाले वाहनों को बढ़ावा देने के लिए एक नया प्रयास शुरू किया है। दरअसल कंपनी अपनी पुरानी गाडी टाटा नैनो को फिर से बाजार में लाने जा रही है, लेकिन इस बार यह गाडी बिजली से चलेगी।
इस खबर को सबसे पहले ‘ऑटोकार इंडिया’ ने अपनी पत्रिका में छापा था। बुधवार को छापी गयी इस खबर में कहा गया था कि इस मॉडल को ‘जयेम निओ’ नाम दिया गया है और इसका उद्घाटन 28 नवम्बर को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी करेंगे।
टाटा नैनो की इलेक्ट्रिक गाड़ियों के लिए कम्पनी ने कोइम्बटोर स्थित एक कंपनी से समझौता किया है। इसके तहत यह कंपनी टाटा को गाड़ी की बाहर की बॉडी बनाकर देगी। इसके बाद गाड़ी में बिजली की मोटर और इंजन लगाए जायेंगे, जिसके बाद गाड़ी को तैयार किया जाएगा।
टाटा नैनो की यह गाड़ी एक बार पूरा चार्ज करने पर लगभग 150 किमी तक जा सकती है। इसके बाद गाडी को फिर से चार्ज करना होगा। आपको बता दें कि इलेक्ट्रिक गाड़ियों को बढ़ावा देने के लिए भारतीय सरकार ने देश में कई जगह चार्जिंग स्टेशन खोलने का फैसला किया है। (सम्बंधित खबर : नागपुर में खुला भारत का पहला इलेक्ट्रिक चार्जिंग स्टेशन )
सार्वजनिक तौर पर इलेक्ट्रिक वाहनों को चलाने पर भी सरकार लगातार योजना बना रही है। बड़ी कैब कंपनियां जैसे ओला आदि भी इलेक्ट्रिक वाहनों को अपना रही है। ख़बरों की मानें तो ओला ने टाटा नैनो से उनकी आगामी इलेक्ट्रिक गाडी पर समझौता भी कर लिया है।
एक सूत्र से पता चला है कि ओला ने टाटा नैनों को 500 इलेक्ट्रिक गाड़ियों का आर्डर दे भी दिया है। हालाँकि ओला ने अभी तक इस बात की पुष्टि नहीं की है।
भारत में इलेक्ट्रिक वाहनों का चलन
इसमें कोई दो राय नहीं है कि भारत में वायु प्रदुषण का स्तर तय सीमा से काफी ज्यादा है। ऐसे में इसमें एक सबसे बड़ा कारण है वाहनों से निकला धुआं और जहरीली गसें। वायु प्रदुषण को रोकने के लिए यह बहुत जरूरी है कि किसी तरह डीजल और पेट्रोल का कोई साफ़ विकल्प ढूँढा जाए।
ऐसे में बिजली से चलने वाले वाहन एक बहुत अच्छा विकल्प हैं। पिछले करीबन एक दशक से विश्व में इलेक्ट्रिक गाड़ियों पर काम चल रहा है। भारत में इससे पहले इलेक्ट्रिक वाहनों को लेकर कुछ ख़ास पहले देखने को नहीं मिली थी।
अब वर्तमान सरकार भारत में इलेक्ट्रिक गाड़ियों को लाने के लिए पुरजोर कोशिश कर रही है। रोड एवं परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने इस विषय में कई बार विदेश दौरे भी किये हैं। ( सम्बंधित खबर : नितिन गडकरी जल्द भारत में लाएंगे इलेक्ट्रिक वाहन )
इसके अलावा सरकार ने देश में इलेक्ट्रिक वाहनों को बढ़ावा देने के लिए लोगों को इलेक्ट्रिक मोटर साइकिल और गाड़ी खरीदने पर छूट देने का एलान भी किया है। सार्वजनिक तौर पर इलेक्ट्रिक बसों और रेलों पर भी काम चल रहा है। ( पूरी खबर : मुंबई में उतरी इलेक्ट्रिक बसें )
भारतीय रेलवे में भी बहुत जल्द बिजली से चलने वाली रेल चालू की जायेंगी। रेलवे मंत्री पियूष गोयल ने हाल ही में कहा था कि साल 2022 तक देश में सभी रेल बिजली से चलना शुरू हो जायेंगी। ( पूरी खबर : रेलवे में बहुत जल्द आएँगी इलेक्ट्रिक रेल )
यदि भारत में पूरी तरह से इलेक्ट्रिक वाहन आ जाते हैं, तो देश को कई क्षेत्रो में मदद मिलेगी। जैसे भारत को तेल आयात करने के लिए दुसरे देशों पर निर्भर नहीं रहना पड़ेगा। सिर्फ तेल खरीदने के लिए हर साल भारत को लाखों करोड़ों रूपए खर्च करने पड़ते हैं। ( सम्बंधित खबर : भारत में इलेक्ट्रिक वाहनों के प्रयोग से होगा 20 लाख करोड़ का फायदा )
सरकार लगातार लोगों को इलेक्ट्रिक वाहनों के इस्तेमाल करने के लिए प्रेरित कर रही है। परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने हाल ही में एक भाषण में कहा था कि लोगों को गाड़ी खरीदना बंद करना चाहिए। ऐसा इसलिए क्योंकि सड़कों पर गाड़ियों को बढ़ता देख सरकार चाहती है कि लोग ज्यादा से ज्यादा सार्वजनिक वाहनों का इस्तेमाल करें।
इसके अलावा गडकरी ने कार कंपनियों को आदेश दिया था कि वे जल्द से जल्द इलेक्ट्रिक गाड़ी बनाना शुरू कर दें। अब कंपनियां भी इस सन्दर्भ में सरकार के आदेश का पालन कर रही हैं। ( सम्बंधित खबर : टोयोटा-सुजूकी मिलकर बनाएंगे इलेक्ट्रिक कारें )
अब इस दौड़ में टाटा मोटर्स भी शामिल हो गयी है। ऐसे में आने वाले दिनों में अन्य भारतीय ऑटो-मोबाइल कंपनियां भी इस क्षेत्र में काम करना शुरू कर सकती हैं।
भारतीय सरकार ने इससे पहले यह फैसला किया था कि भारत में साल 2030 तक पूरी तरह से बिजली से चलने वाले वाहनों का इस्तेमाल होगा। ऐसे में सरकार की यह कोशिश बहुत जल्द सच होती दिख रही है।