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    ईरान ने 12 में से 9 क्रू सदस्यों को किया रिहा

    ईरान ने जुलाई के शुरुआत में एमटी रिआह जहाज को जब्त कर लिया था इसके 12 भारतीय क्रू सदस्यों में से नौ को रिहा कर दिया है। हालाँकि अभी भी ईरान की कैद में 21 भारतीय है, तीन एमटी जहाज और 18 ब्रितानी आयल टैंकर स्टेना इम्पेरो पर सवार क्रू सदस्य है।

    भारतीय सदस्यों तक राजनयिक पंहुच

    बीते हफ्ते ईरान की सेना ने होर्मुज़ के जलमार्ग से अंतरराष्ट्रीय नियमों का उल्लंघन करने के आरोप में ब्रितानी जहाज को हिरासत में ले लिया था। इम्पेरो में सवार 18 भारतीयों तक ईरान ने गुरूवार को भारतीय दूतावास को राजनयिक पंहुच दी थी। ग्रेस 1 जहाज में ऑन बोर्ड 24 भारतीय क्रू सदस्य भी अभी हिरासत में हैं, इस जहाज को गिब्राल्टर पुलिस विभाग ने जब्त किया था।

    भारतीय विदेश मंत्रालय ने गुरूवार को बताया कि “ग्रेस 1 जहाज में सवार 24 भारतीय क्रू सदस्यों से भारतीय अधिकारीयों ने मुलाकात की है और उन्हें आश्वस्त किया है कि उनकी जल्द रिहाई और प्रत्यर्पण के लिए सरकार सभी करुरी कदमो को उठाएगी।” ग्रेस 1 को इस माह की शुरुआत में ब्रितानी शाही सेना और गिब्राल्टर पुलिस ने स्पेन के बंदरगाह पर जब्त किया था।

    विदेश राज्य मंत्री वी मुरलीधरण ने कहा कि “लन्दन में भारतीय उच्चायुक्त की एक टीम ने ग्रेस 1के भारतीय क्रू और स्टाफ से बुधवार को मुलाकात की थी।” मंत्री ने ट्वीट किया कि “क्रू की मानसिक स्थिति उच्च स्टार की है। जल्द रिहाई के लिए सभी सहयोग करने को सुनिश्चित किया है। लन्दन उच्चायुक्त सभी जरुरी यात्रा दस्तावेज और सम्बंधित तैयारियों का आयोजन कर रहा है।”

    विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने दिल्ली में मीडिया ब्रीफिंग के दौरान कहा कि “भारत को बुधवार को राजनिक पंहुच की अनुमती मील गयी थी और तीन सदस्य टीम ने यात्रा की और सभी 24 क्रू सदस्यों से मुलाकात की थी। हम क्या देखते हैं कि क्रू के सदस्य बेहद शांत थे, और उन्हें कोई भय नहीं था। वे अपने परिवार के साथ नियमित संपर्क में थे। हमने उनको आश्वस्त किया है कि भारत सरकार उनकी जल्द रिहाई और प्रत्यर्पण के बाबत सभी जरुरी कदमो को उठाएंगे।”

    मुरलीधरन ने कहा की “तेहरान में स्थित भारतीय दूतावास को भारतीय क्रू सदस्यों तक राजनयिक पंहुच दी जा चुकी है।”

    By कविता

    कविता ने राजनीति विज्ञान में स्नातक और पत्रकारिता में डिप्लोमा किया है। वर्तमान में कविता द इंडियन वायर के लिए विदेशी मुद्दों से सम्बंधित लेख लिखती हैं।

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