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    नागरिकता विधेयक पर अमित शाह

    रविवार को अमित शाह ने एनआरसी पर अपना बयान दिया। उन्होंने कहा कि सरकार असम को दूसरा कश्मीर बनने नहीं दे सकती है। हमें ध्यान रखना होगा कि राज्य में नेशनल रजिस्टर ऑफ सिटिजन (एनआरसी) का काम पूरी पारदर्शिता के साथ हो।

    साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि, फिदायीन हमले में शहीद जवानों का बलिदान हम यूं ही व्यर्थ नहीं जाएगा क्योंकि कांग्रेस सरकार सत्ता में नहीं है। मई में जब दोबारा एनडीए सरकार सत्ता में आएगी तो नागरिकता संशोधन विधेयक को फिर से पेश किया जाएगा।

    शाह, गुवाहटी से 380 कि.मी. उत्तर-पूर्व में स्थित लखीमपुर में भाजपा के युवा मोर्चा को संबोधित कर रहे थे। वे बार-बार एनआरसी के मुद्दे पर जोर दे रहे थे।

    उन्होंने उत्तर-पूर्व में भगवा रंग यानी भाजपा को जीताने की भी बात कही। आज बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह असम के दौरे पर हैं। जहां वे गुवहाटी में भाजपा कार्यालय की नींव रखेंगे।

    शाह ने यह भी कहा कि, “एनडीए सरकार चुप नहीं बैठेगी। अचानक आंतकी हमले अंजाम देकर वे खुश है लेकिन इसका जवाब उन्हें दिया जाएगा। सरकार गोली का जवाब गोली के साथ-साथ कूटनीति से भी देगी। उन्होंने सर्जिकल स्ट्राइक का भी जिक्र किया।” साथ ही यह भी याद दिलाया कि प्रधानमंत्री मोदी की विदेशी देशों के साथ अच्छे संबंध है जो आतंकवाद के खिलाफ लड़ने में मदद करेंगे।

    लोकसभा में यह बिल पास होने के बाद राज्यसभा में गिर गया है। हालांकि मोदी सरकार इसे पास करने की पूरी कोशिश में लगी है। शाह ने वहां के लोगों को याद दिलाया कि, “अगर नागरिकता विधेयक को पास नहीं किया गया तो जिस तरह की असम की भौगोलिक बनावट है असम वाासी जल्दी ही मुश्किल में फंस सकते हैं। इसलिए बिल का विरोध न किया जाए।”

    गठबंधन से असम गण परिषद् के हाथ खींच लेने पर शाह ने तंज कसा कि आगामी पंचायती चुनाव में विपक्ष कैब का विरोध करेगा। जिसके बाद रिहायशी जनता असम गण परिषद् (एजीपी) को हटा देगी। उन्होंने यह भी कहा कि, “दस सालों की एजीपी सरकार, 25 सालों की कांग्रेस सरकार और 20 साल केंद्र में कांग्रेस होने के बावजूद उन्होंने एनआसी व असम एकोर्ड में क्य़ा किया? एनआरसी क्यों नहीं बनी? घुसपैठिए रुके क्यों नहीं? उन्होंने केवल जनता को ठगने व दिखावे के लिए असम एकोर्ड किया था। जबकि भाजपा ने इसपर काम किया क्योंकि असम एकोर्ड के 6ठें क्लॉउस में असामी लोगों की सभ्यता, भाषा, संस्कृति को बचाए रखने, बढ़ाने की बात कही गई है।

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