Tue. Apr 23rd, 2024

    बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने राज्य के मुख्य सचिव अलपन बंद्योपाध्याय को कार्यमुक्त करने और दिल्ली भेजने से इनकार कर दिया है। ममता ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को इस बात पर पत्र लिखकर साफ कहा है कि बंगाल सरकार ऐसे मुश्किल दौर में अपने मुख्य सचिव को कार्यमुक्त नहीं कर सकती है। बता दें कि केंद्र ने 28 मई को पश्चिम बंगाल सरकार को पत्र लिखकर मुख्य सचिव अलपन बंद्योपाध्याय को कार्यमुक्त करने का अनुरोध किया था। साथ ही अलपन को 31 मई की सुबह 10 बजे तक दिल्ली में कार्मिक मंत्रालय में रिपोर्ट करने को कहा गया था।

    ममता ने प्रधानमंत्री को लिखे पत्र में कहा कि “बंगाल सरकार ऐसी मुश्किल घड़ी में अपने मुख्य सचिव को रिलीव नहीं कर सकती और न ही ऐसा कर रही है”। ममता ने नरेंद्र मोदी से केंद्र के इस फैसले को वापस लेने, पुनर्विचार करने और आदेश को तत्काल रद्द करने का अनुरोध किया है। इधर सूत्रों के अनुसार बंद्योपाध्याय दिल्ली नहीं जा रहे हैं। वह सोमवार को राज्य सचिवालय नवान्न में मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के नेतृत्व होने वाली बैठक में हिस्सा लेंगे। बैठक में यास चक्रवात और कोरोना महामारी से जुड़े मुद्दों पर चर्चा होने की संभावना है।

    केंद्र ने बंद्योपाध्याय को दिल्ली बुलाने का आदेश चक्रवात यास पर प्रधानमंत्री मोदी के साथ मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की बैठक में देर से पहुंचने के कुछ घंटों के बाद दिया गया था। 31 मई को ही बंद्योपाध्याय मुख्य सचिव पद से रिटायर हो रहे थे लेकिन राज्य में कोविड-19 महामारी से निपटने में मदद के लिए राज्य सरकार के अनुरोध पर 24 मई को बंद्योपाध्याय का कार्यकाल तीन महीने के लिए बढ़ाने का आदेश जारी किया गया था। 

    इधर, कानून के जानकारों ने आशंका जताई थी कि केंद्र के लिए बंगाल के मुख्य सचिव को सेवानिवृत्त होने के दिन दिल्ली बुलाने के आदेश का पालन मुश्किल हो सकता है। जानकारों का कहना था कि राज्य सरकार अपने अधिकारों का प्रयोग करते हुए उन्हें कार्यमुक्त करने से इनकार कर सकती है।

    अखिल भारतीय सेवा के अधिकारियों की प्रतिनियुक्ति के नियम 6 (1) के तहत किसी राज्य के कैडर के अधिकारी की प्रतिनियुक्ति केंद्र या अन्य राज्य या सार्वजनिक उपक्रम में संबंधित राज्य की सहमति से की जा सकती है। भारतीय प्रशासनिक सेवा (कैडर) नियम-1954 के तहत, कोई असहमति होने पर मामले पर निर्णय केंद्र सरकार और राज्य सरकार कर सकती है या संबंधित राज्य सरकार केंद्र सरकार के फैसले को प्रभावित कर सकती है।

    By दीक्षा शर्मा

    गुरु गोविंद सिंह इंद्रप्रस्थ विश्वविद्यालय, दिल्ली से LLB छात्र

    One thought on “ममता ने प्रधानमंत्री मोदी को चिट्ठी लिख मुख्य सचिव को दिल्ली भेजने से किया इनकार”

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