भारत के सेनाध्यक्ष जनरल बिपिन रावत अमेरिका के चार दिवसीय आधिकारिक दौरे पर जायेंगे। इसकी शुरुआत 2 अप्रैल से होगी। इस यात्रा के मकसद दोनों राष्ट्रों के मध्य सैन्य संबंधों को गति प्रदान करना और रणनीतिक प्रतिबद्धताओं का विस्तार करना है।
चार दिवसीय यात्रा के दौरान सेनाध्यक्ष अमेरिकी सेना के आला अधिकारीयों से मुलाकात करेंगे ताकि मिलिट्री टू मिलिट्री सहयोग को आगे लेकर जाया जा सके। जनरल बिपिन रावत पश्चिमी पॉइंट पर स्थित अमेरिकी सैन्य अकादमी और केंसास के फोर्ट लेवेन्वोर्थ में स्थित कमांड एंड जनरल स्टाफ कॉलेज का भी भ्रमण करेंगे।
इसके आलावा सेनाध्यक्ष जॉइंट चीफ ऑफ़ स्टाफ के चेयरमैन जनरल जोसफ एफ डनफोर्ड और अमेरिकी आर्मी के चीफ ऑफ़ स्टाफ जनरल मार्क ए मिली से मुलाकात करेंगे।
रक्षा मंत्रालय की तरफ से सोमवार को जारी बयान के मुताबिक इस यात्रा से अमेरिका और भारत के बीच संबंधों में विस्तार होगा।
रक्षा मंत्रालय का बयान
रक्षा मंत्रालय की ओर से लेफ्टिनेंट कर्नल मोहित वैष्णव नें बयान जारी किया, “थलसेना अध्यक्ष जनरल बिपिन रावत 2 अप्रैल 2019 से 5 अप्रैल 2019 तक संयुक्त राज्य अमेरिका के दौरे पर रहेंगे। इस दौरे के दौरान जनरल रावत और उनका दल अमेरिकी सेना के वरिष्ठ अधिकारीयों से चर्चा करेंगे और दोनों देशों के सेना के बीच सहयोग को मजबूत करने की कोशिश करेंगे। सेनाध्यक्ष अमेरिकी मिलिट्री अकादमी और कैन्सस में स्थिति जनरल स्टाफ कॉलेज का भी दौरा करेंगे।
जनरल रावत वहां अमेरिकी आर्मी के अध्यक्ष जनरल जोसफ एफ डनफोर्ड से मुलाकात करेंगे और दोनों सेनाओं के पक्ष में होने वाले फैसले करेंगे। जनरल बिपिन रावत कमांड और स्टाफ कॉलेज, अमेरिका से शिक्षा ले चुके हैं। उनका अमेरिका जाने का दौरा सेना के लिए बहुत फायदेमंद साबित होगा और अमेरिका से साझेदारी मजबूत करेगा। इस यात्रा के दौरान होने वाला अभुभाव आने वाले समय में दोनों देशों के लिए लाभदायक होगा।