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    NCERT ने कक्षा 10 के विज्ञान से Periodic Table को हटाया

    राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद (NCERT) ने कक्षा 10 के विज्ञान विषय के निर्धारित नये सिलेबस के केमिस्ट्री हिस्से से आवर्त सारणी (Periodic Table) को हटा दिया है। मालूम हो कि NCERT ने पीरियॉडिक टेबल को हटाने को लेकर जून 2022 में ही नोटिस जारी किया था। इसके बाद नए सत्र के लिए केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (CBSE) के साथ अन्य द्वारा लागू किया जा रहा है।

    NCERT ने क्लास 10 साइंस सिलेबस से पीरियॉडिक टेबल को हटाए जाने को लेकर परिषद द्वारा स्पष्टीकरण दिया कि कोविड-19 महामारी के दौरान, जब पढ़ाई ऑनलाइन माध्यमों से की जा रही थी, तो ऐसे टॉपिक को सिलेबस कम करने के लिए हटाया गया है जिन्हें आगे की कक्षाओं में विस्तृत रूप में पढ़ाया जाना है या पिछली कक्षा में काफी हद तक कवर कर लिया गया है। NCERT ने जानकारी दी है कि कक्षा 9 में विभिन्न रासायनिक तत्वों, उनके संकेतों, यौगिक, परमाणु, अणु, आदि को पहले ही पढ़ाया गया है और कक्षा 11 व 12 में केमिकल रिएक्शन, एसिड बेस, मेटल व नॉन-मेटल, कार्बन, आदि को पढ़ाया जा रहा है।

    रसायन विज्ञान के अध्ययन में प्रारंभिक स्तर पर पढ़ाई जाने वाली Periodic Table में विभिन्न रासायनिक तत्वों का एक सारणी में प्रदर्शित किया जाता है, जो कि उन तत्वों के परमाणु क्रमांक (Atomic Number) के बढ़ते हुए क्रम में व्यस्थित होते हैं। वर्तमान आवर्त सारणी में 118 तत्वों को अलग-अलग वर्गों में रखा गया है। आवर्त सारणी का इस्तेमाल छात्र-छात्राएं रसायन विज्ञान में विभिन्न केमिकल रिएक्शन और गणनाओं के लिए किया जाता है। पीरियॉडिक टेबल को आइकॉन ऑफ केमिस्ट्री भी माना जाता है। इसका इस्तेमाल केमिस्ट्री के साथ-साथ फिजिक्स व अन्य विज्ञान में भी करते हैं।

    रसायन विज्ञान में आरंभिक स्तर पर Periodic Table पढ़ाया जाता है जिसमें विभिन्न रासायनिक तत्वों को परमाणु क्रमांक के अनुसार लगाया गया है।

    NCERT ने जानकारी साझा करते हुए कहा कि कोविड-19 में कठिन दौर में पढ़ाई का बोझ कम करने के लिए सिलेबस के उन हिस्सों को हटाया गया जिन्हें पिछली कक्षा में कवर किया गया है और आगे की कक्षाओं में भी पढ़ाया जाना है।

    रसायन विज्ञान की पढ़ाई Periodic Table से शुरू होती है। एनसीईआरटी द्वारा सिलेबस को अपग्रेड करने के लिए आवर्त सारणी के काफी विवरणों को कक्षा 9 में शामिल किया है और कक्षा 10 में इसे आगे पढ़ाया जाता है। वहीं, कक्षा 11 व 12 में इसके इस्तेमाल के साथ एडवांस स्टडी होती है।

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