अमरीका की एक स्थानीय अदालत में डोनाल्ड ट्रम्प की आप्रवासी नीति को झटका लगा है। राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने हाल ही में आदेश दिया था कि मेक्सिको से अवैध तौर पर प्रवेश करने वाले आप्रवासियों को आश्रय नहीं दिया जायेगा। अमेरिका के जिला न्यायाधीश ने फौरी तौर पर आश्रय मुहैया नहीं करने के ट्रम्प के आदेशों को स्थगित कर दिया है। जज ने कहा कि इस आदेश को तत्काल राष्ट्रीय स्तर पर अमल में लाया जाए।
डोनाल्ड ट्रम्प ने हाल ही में कहा था कि अधिकारी केवल उन्ही आप्रवासियों के लिए आश्रय की व्यवस्था करेंगे जो अधिकारिक तरीके से अमेरिका में दाखिल हुए हों। नागरिक अधिकार समूह ने ट्रम्प के बयान की आलोचना करते हुए कहा कि राष्ट्रपति का 9 नवम्बर का आदेश प्रशासनिक और आप्रवासी कानून का उल्लंघन है।
जिला न्यायाधीश ने कहा कि काग्रेस ने साफ़ किया किया है कि अमेरिका में आये प्रवासी आश्रय की मांग कर सकते हैं, फिर चाहे वे किसी भी तरीके से दाखिल हुए हों। उन्होंने कहा कि राष्ट्रपति की जो चाहे आप्रवासी नीति हो लेकिन वह कानून को दोबारा नहीं लिख सकते हैं।
जिला न्यायाधीश को पूर्व राष्ट्रपति ओबामा के कार्यकाल के दौरान नियुक्त किया गया था। ख़बरों के मुताबिक बच्चों सहित हजारों आप्रवासियों का कारवां अमेरिकी सीमा की ओर बढ़ रहा है। इसमें से कई लोग अमरीकी-मेक्सिको की सीमा तक पहुंच चुके हैं।
दक्षिणपंथी समुदायों ने कहा कि आप्रवासियों को जबरन हफ़्तों का इंतज़ार करवाया जा रहा है। अदालत की सुनवाई के दौरान अमेरिकी सिविल लिबर्टी यूनियन अटॉर्नी ली गेलेरेंट ने कहा कि यह आदेश अमेरिका के आप्रवासी और राष्ट्रीयता कानून के उलट है। इस कानून के तहत अमेरिका में मौजूद कोई भी नागरिक आश्रय की मांग कर सकता है, चाहे वो किसी भी तरीके से अमेरिका में दाखिल हुआ हो।
पिछले सप्ताह कई आप्रवासियों का कारवां अमेरिकी-मेक्सिको के बॉर्डर पर पहुंच गया था। इनमे से कई आप्रवासियों को शिविरों में रखा गया है और कई आश्रय का इंतज़ार कर रहे हैं। डोनाल्ड त्रुम्पने सीमा सुरक्षा बढाने के लिए 5000 सैनिकों को तैनात किया है।