पाकिस्तान के आर्थिक हालात खस्ताहाल होने के कारण नवनिर्वाचित सरकार के लिए लिए यह चुनौतीपूर्ण दौर है। पाकिस्तान सिर्फ अंतर्राष्ट्रीय दिक्कतों का ही सामना नहीं कर रहा बल्कि दीमक की तरह देश को खोखला करने वाले सत्ताधारियों के खिलाफ भी जंग लड़ रहा है।
पाकिस्तान के वज़ीर-ए-आज़म इमरान खान ने आवाम से वायदा किया कि वह जल्द ही एक कानून को प्रस्तावित करेंगे जो भ्रष्टाचार में संलिप्त अधिकारियों और राजनेताओं पर नकेल कसेगा।
इमरान खान के नेतृत्व वाली पाकिस्तान तहरीक-ए-इन्साफ को 25 जुलाई को हुए आम चुनाव में सत्ता की कमान मिली थी। इस चुनाव के प्रचार के दौरान इमरान खान ने भ्रष्टाचार विरोधी अभियान चलाया था।
इमरान ने कहा कि पाकिस्तान आर्थिक आपदा से गुज़र रहा है और इस स्थिति से भ्रष्टाचारियों की जेब में छिपा धन ही देश को मंदी से उभार सकता है। उन्होंने दावा किया कि आवाम का करोड़ों रुपए चुराकर भ्रष्टाचारी विदेशों में लुत्फ़ उठा रहे हैं।
लाहौर में मीडिया को सम्बोधित करते हुए इमरान खान ने कहा कि इस कानून के तहत आम आदमी (व्हिस्टलब्लोवर) भ्रष्टाचारियों का खुलासा करेगा और उस भ्रष्ट व्यक्ति से वसूली रकम और संपत्ति में से 20 परसेंट व्हिस्टलब्लोवर को दिया जायेगा। बकाया 80 फीसदी से पाकिस्तान का कर्ज निपटाया जायेगा।
इमरान खान ने बताया कि प्रस्ताव को आगामी दिनों में सदन में पेश किया जायेगा जिसमे व्हिस्टलब्लोवर की सुरक्षा के नियम भी होंगे। पीछे पांच सालों में पाकिस्तान पर कर्ज का कद निरंतर बढ़ा है।
अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष ने पाकिस्तान की सरकार को आगाह करते हुए कहा था कि इस्लामाबाद की चरमराती अर्थव्यवस्था को स्थिर कर लें वरना महंगाई बढ़ेगी और वृद्धि रुक जाएगी।
पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री नवाज़ शरीफ पर भ्रष्टाचार का आरोप हैं हालाँकि जमानत पर कैद से बाहर है। साथ ही नवाज़ शरीफ के भाई और पंजाब के पूर्व मुख्यमंत्री को भ्रष्टाचार रोधी एजेंसी ने गिरफ्तार किया है। अलबत्ता उन्होंने इन आरोपों को खारिज करते हुए इसे राजनितिक षड्यंत्र करार दिया है।