भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने नई दिल्ली में आयोजित हुए 19 वें शिखर सम्मेलन में मुलाकात की। यह एक अनौपचारीक बैठक थी जिसने दोनों राष्ट्रों के बीच कूटनीतिक भागीदारी को बढ़ाया।
दोनो राष्ट्रों के नेताओं ने रिश्तों के एक नया अध्याय प्रारम्भ किया जिसके विपक्ष में अमेरिका के प्रतिबंध थे।
भारत और रूस ने इस सम्मेलन के दौरान आठ समझौतों पर हस्ताक्षर किए। इन समझौतों में रेलवे, कीटनाशक, परमाणु ऊर्जा और अंतरिक्ष मिशन शामिल है।
पीएम मोदी ने बयान में कहा कि राष्ट्रपति पुतिन की प्रतिबद्धता हमारे रिश्तों में नई ऊर्जा भर देगी और हमारा विश्वास व दोस्ती संबंधों को मजबूती देगी।
साथ ही हमारी रणनीतिक साझेदारी इस रिश्ते को नई ऊंचाइयां देंगी। साथ ही पीएम मोदी ने तेल की बढ़ती कीमतों और उससे देशों पर पड़ने वाले प्रभाव के बाबत कहा कि भारत और रूस तेल की कीमतों में स्थिरता लाने का प्रयास करेंगे।
राष्ट्रपति पुतिन ने कहा कि सैन्य तकनीक सहयोग हथियार के सौदे तक ही सीमित नहीं है। दोनो देशों के रक्षा मंत्रालय एक दूसरे के साथ संपर्क साधे हुए थे। आतंकवाद के खात्मे के लिए दोनों देश सहयोग करेंगे। उन्होंने दोहराया कि बगैर दोहरे चरित्र के आतंकवाद के निपटान के लिए कार्य करेंगे। दोनो राष्ट्र ने आतंकवाद के समूहों, उनके आर्थिक स्त्रोत, हथियार पहुचाने वाले समूहों को नष्ट करने सहमति जतायी है।
सूत्रों के मुताबिक पाकिस्तान के विषय मे कोई बात नहीं कि गयी है लेकिन तालिबान के साथ पाकिस्तान के संबंध के बाबत बात की थी। राष्ट्रपाति पुतिन नरेंद्र मोदी से माल एवं सेवा कर के विषय में जानने की इच्छा जताई थी।