भारतीय जनता पार्टी की सरकार ने देश में डिजिटल एवं सफाई के क्षेत्र पर विशेष ध्यान केंद्रित किया था जो की सराहनीय है परन्तु आज भी देश में काफी गंदगी है।
भारतीय रेल वैसे तो दुनिया का सबसे बड़ा रेल नेटवर्क है जिसके तहत तकरीबन लाखों लोगों को रोज़गार मिला है।
किन्तु आज कल रेलवे भी काफी बुरे वक्त स गुज़र रहा है। हाल ही में हुए तीसरे स्वच्छता सर्वेक्षण में राजस्थान के जोधपुर व मारवाड़ रेलवे स्टेशन सबसे स्वच्छ घोषित किए गए है।
रेलवे यातायात द्वारा उन्होंने यह पहल बनाई है। इसी के चलते रेलवे ने इस साल देश के 7 हजार 349 स्टेशनों का स्वच्छता सर्वे किया जिसका उसने सोमवार को ब्यौरा सौंपा।
इस सर्वेक्षण में राजस्थान के जोधपुर व मारवाड़ रेलवे स्टेशन सबसे स्वच्छ घोषित किए गए, जबकि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के लोकसभा निर्वाचन क्षेत्र वाराणसी का स्टेशन इस सर्वेक्षण में फिसलकर 69वें स्थान पर आ गया।
इस सर्वेक्षण को जारी करते हुए रेलमंत्री पीयूष गोयल ने कहा, “जोधपुर ए-1 स्टेशन श्रेणी के तहत सबसे स्वच्छ स्टेशन के रूप में सामने आया है। बीते साल विशाखापट्नम पहले स्थान पर था।”
उन्होंने कहा कि राजस्थान की राजधानी जयपुर का स्टेशन दूसरे नंबर पर है और आंध्र प्रदेश का तिरुपति स्टेशन तीसरे स्थान पर है।
पिछले सर्वेक्षण में जोधपुर 17वें स्थान पर, जबकि जयपुर व तिरूपति क्रमशः18वें व 19वें स्थान पर थे। वाराणसी को स्टेशन स्वच्छता सर्वेक्षण में 2017 में 14वें स्थान पर था।
मथुरा रेलवे स्टेशन ए-1 स्टेशन श्रेणी में सबसे गंदा स्टेशन घोषित किया गया जबकि निजामुद्दीन व पुरानी दिल्ली स्टेशन क्रमशः: 54वें व 60वें स्थान पर रहे। बीते साल पुरानी दिल्ली व हजरत निजामुद्दीन क्रमश: 23वें व 24वें स्थान पर थे।
इससे एक बात तो साफ़ हो गई की समय के साथ साथ रेलवे की हालत ख़राब होती गई है।