मुस्लिम महिला लॉ बोर्ड की महिलाओं का मानना है कि ट्रिपल तलाक़ पर सरकार को सजा भी तय करनी चाहिए। दरअसल आज फिर एक मुस्लिम पुरुष ने अपनी पत्नी को तीन तलाक़ दिया है।
देश में कल सुप्रीम कोर्ट ने ट्रिपल तलाक़ को असंवैधानिक और गैर कानूनी माना था। इसके बाद से देश में चारों और मुस्लिम महिलाओं ने खुशियां मनाई थी। महिलाओं के मुताबिक यह उनकी आज़ादी है। इसके बावजुद आज उत्तर प्रदेश में एक मुस्लिम सख्श में अपनी पत्नी को तीन तलाक़ के जरिये तलाक़ दे दिया। इसके बाद महिलाओं का मानना है कि इस मुद्दे पर सरकार को सख्त कानून लाना होगा और इसपर सजा तय करनी चाहिए।
आल इंडिया मुस्लिम वीमेन पर्सनल लॉ बोर्ड की अध्यक्ष शाइस्ता अम्बर ने कहा, ‘उच्चतम न्यायालय ने कल ही तीन तलाक को असंवैधानिक घोषित करते हुए उसपर पर रोक लगायी लेकिन कल ही मेरठ में एक गर्भवती महिला को उसके पति ने तलाक, तलाक, तलाक बोला और अपना रिश्ता खत्म कर लिया। अब सवाल यह है कि ऐसा करने वालों को कौन सी सजा दी जाएगी।’
दरअसल मुस्लिम महिलाओं को डर है कि कहीं इस मामले पर कोई कानून ही नहीं बाने और महिलाएं ऐसे ही पीड़ित होती रहे। ख़बरों के अनुसार सरकार अदालत के इस फैसले के बाद से इसपर बनाये जाने वाले कानून के बारे में बात नहीं कर रही है। सरकार का कहना है कि अदालत के ही इस फैसले को कानून माना जाएगा और इसपर कानून बनाने की कोई आवश्यकता नहीं है।