अमेरिका ने एशियाई देशों पर दबाव बनाने को लेकर चीन पर निशाना साधा है। अमेरिका ने चीन को साफ लहजे मे कहा है कि वो एशियाई देशो में चीन को छोटे देशों को धमकाने की अनुमति प्रदान नहीं करेगा। पूर्वी एशिया और प्रशांत मामलों की सहायक विदेश मंत्री सूसन थॉर्नटन ने चीन के संबंध में यह बात अमेरिकी संसद मे कही।
सूसन ने कहा कि चीन एशियाई देशों में अपनी धाक जमाकर अमेरिका का स्थान लेना चाहता है उसके प्रयासों को हम मंजूर कर सकते है। लेकिन एशिया में अपनी धाक जमाने के लिए किसी देश पर अनावश्यक दबाव बनाना और धमकाने की चीन की रणनीति की हम कतई इजाजत नहीं देंगे।
चीन को नियमों का पालन करते हुए सबसे साथ समान व्यवहार करना होगा। गौरतलब है कि चीन एशियाई देशों पर अपना प्रभाव विस्तारित करने की कोशिश करता रहा है। हिंद महासागर में भी चीन के बढते दबाव से कई देश चिंतित नजर आ रहे है।
ट्रम्प प्रशासन भारत-प्रशांत रणनीति के माध्यम से पूरे क्षेत्र में भागीदारी बढ़ाने और गहन करने के लिए काम कर रहा है।
एशिया प्रशांत क्षेत्र में बहुत वास्तविक सुरक्षा और आर्थिक चुनौतियां है, जिनमें उत्तर कोरिया की ओर से दी जा रही खतरनाक धमकी, एक सत्तावादी चीन का उदय, और आतंकवाद फैल रहा है। सूसन ने कहा कि इस क्षेत्र में शांति तो बनी रहती है लेकिन आतंकवाद भी यहां पर अपने पैर पसार रहा है।
गौरतलब है कि चीन छोटे एशियाई देशों में कई बार दबंगई का प्रयास कर चुका है। ट्रम्प प्रशासन ने ये भी कहा कि लोकतंत्र और मानवाधिकारों का पतन तथा भ्रष्टाचार भी कुछ देशों में स्थिरता एवं विकास की संभावनाओं को कमजोर कर रहे है।