जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) प्रशासन ने परिसर में पांच जनवरी को हुई हिंसा की जांच के लिए पांच सदस्यीय समिति का गठन किया है। यह कदम जेएनयूएसयू नेताओं के उन आरोपों के बाद उठाया गया है, जिसमें कहा जा रहा था कि जेएनयू प्रशासन दक्षिणपंथी छात्र संगठनों खासकर अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) का पक्ष ले रहा है।
जेएनयू के कुलपति जगदीश कुमार ने सात जनवरी को समिति का गठन किया। इस समिति में प्रोफेसर सुशांत मिश्रा, मजर आसिफ, सुधीर प्रताप सिंह, संतोष शुक्ला और भसवती दास को शामिल किया गया है। इन सदस्यों को जल्द से जल्द अपनी रिपोर्ट देने को कहा गया है।
विश्वविद्यालय के मुख्य सुरक्षा अधिकारी को जांच टीम के साथ समन्वय और सहायता का काम सौंपा गया है।
जेएनयू परिसर में साबरमती हॉस्टल पर पांच जनवरी को नकाबपोश बदमाशों के समूह ने कुछ छात्रों और प्रोफेसरों पर हमला कर दिया था। इसके बाद से ही जेएनयू में तनाव बना हुआ है। वामपंथी समर्थक छात्र और दक्षिणपंथी एबीवीपी हिंसा के लिए एक-दूसरे को जिम्मेदार ठहराते रहे हैं।