नई दिल्ली, 30 मई (आईएएनएस)| सर्वोच्च न्यायालय ने गुरुवार को अनिर्बान दास को सात दिन की अंतरिम सुरक्षा प्रदान की। दास एक सामाजिक कार्यकर्ता हैं, जिन पर बंगाल के अलीपुरद्वार में पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के खिलाफ एक आलोचनात्मक फेसबुक पोस्ट प्रकाशित करने को लेकर एक आपराधिक मामले में गिरफ्तारी की तलवार लटक रही है।
अनिर्बान दास ने अपने वकील दीपक कुमार जेना के जरिए अदालत के समक्ष अर्जी दाखिल की कि उन पर गिरफ्तारी की तलवार लटक रही है, क्योंकि ‘पुलिस अपने राजनीतिक आकाओं के निर्देश व मार्गदर्शन पर काम कर रही है।’
दास ने राज्य में वकीलों की लंबी हड़ताल का हवाला देते हुए शीर्ष अदालत का दरवाजा खटखटाया और कहा कि उन्हें डर है कि उनकी स्वतंत्रता को गंभीर खतरा है।
उन्होंने अदालत के समक्ष तर्क दिया कि उनके खिलाफ प्राथमिकी उनकी अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता को दबाने के लक्ष्य से की गई है और उन्हें आपराधिक मामले में झूठे फंसाया गया है।
उन्होंने अदालत को यह भी सूचित किया कि उन्होंने पहले ही संबंधित व्यक्ति अलीपुरद्वार टाउन ब्लॉक तृणमूल युवा कांग्रेस समिति अध्यक्ष से बिना शर्त माफी मांग ली है, जिन्होंने उनके खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कराई है।
दास ने याचिका में कहा, “याचिकाकर्ता ने केवल फेसबुक पर सरकार की सामान्य आलोचना की, लेकिन पुलिस ने एक प्राथमिकी दर्ज कर दी।”
दास ने कथित तौर पर 24 अप्रैल को ममता बनर्जी की आलोचना की थी।