सुप्रीम कोर्ट ने हैदराबाद की 25 वर्षीय पशु चिकित्सक की दुष्कर्म के बाद हत्या करने के चार आरोपियों को तेलंगाना पुलिस द्वारा मुठभेड़ मार गिराने के खिलाफ दर्ज याचिका पर सुनवाई के लिए सोमवार को अपनी मंजूरी दे दी। कोर्ट 18 दिसंबर को मामले की सुनवाई करेगा। प्रधान न्यायाधीश एस.ए. बोबडे की अध्यक्षता वाली पीठ ने कहा कि वह इसकी भी जांच करेगी कि तेलंगाना हाईकोर्ट किसकी निगरानी कर रहा है।
दो वकीलों द्वारा शनिवार को दायर याचिका में पुलिसकर्मियों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करने और मामले की स्वतंत्र जांच कराए जाने की मांग की गई है।
मामले के चारों आरोपियों को छह दिसंबर को मुठभेड़ में मार दिया गया था।
याचिकाकर्ताओं- जी.एस. मणि और प्रदीप कुमार यादव- ने प्राथमिकी दर्ज कराने और फिर सीबीआई, एसआईटी, सीआईडी या किसी अन्य प्रदेश के पुलिस अधिकारियों की टीम से मुठभेड़ की जांच कराने का निर्देश देने की मांग की गई है।
याचिकाकर्ताओं ने शीर्ष अदालत से मांग की कि स्वतंत्र जांच एजेंसी को फर्जी मुठभेड़ में हत्या की जांच (पीयूसीएल बनाम महाराष्ट्र राज्य) के संबंध में जारी दिशानिर्देशों का पालन करने का निर्देश दिया जाए।
सुप्रीम कोर्ट ने हैदराबाद मुठभेड़ मामले में तेलंगाना हाईकोर्ट और राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग द्वारा शुरू की गई कार्यवाहियों पर भी रोक लगा दी है। शीर्ष अदालत ने कहा कि इस मामले से संबंधित कोई अन्य कोर्ट सुनवाई नहीं करेगी।