अमेरिका के करीबी मित्र और सभी कर्मों के साथी फ्रांस ने सीरिया से अमेरिकी सैनिकों की वापसी के निर्णय पर अफ़सोस जताया है। फ्रांस के राष्ट्रपति इम्मानुएल मक्रों में रविवार को कहा कि अमेरिकी राष्ट्रपति का फैसला, सीरिया से सैनिकों की वापसी पर बेहद खेद है।
बुधवार को डोनाल्ड ट्रम्प ने ऐलान किया कि वह सीरिया से अपने 2 हज़ार सैनिकों को वापस बुलाएँगे। राष्ट्रपति के इस निर्णय से उनके सहयोगियों के लिए चिंताएं बढ़ गयी हैं।
सहयोगी भरोसेमंद साथी होना चाहिए
फ्रांस के राष्ट्रपति ने कहा कि सीरिया पर लिए निर्णय का मुझे खेद है, सहयोगी होने के नाते हमें कंधे से कंधे मिलकर लड़ना है, यह सेना के प्रमुख और राज्य के प्रमुख के लिए बहुत जरुरी होता है। उन्होंने कहा कि एक सहयोगी को हमेशा भरोसे के लायक होना चाहिए।
अमेरिकी अधिकारी अपने बयान का स्पष्टीकरण दें
इम्मानुएल मक्रों ने कुरदीश के नेतृत्व में सीरियन डेमोक्रेटिक फोर्सेस के कार्य की महत्वता पर जोर देते हुए कहा कि, उन्होंने इस्लामिक स्टेट से छिनकर सीरिया के उत्तरी और पूर्वी इलाकों पर कब्ज़ा कर लिया है। उन्होंने कहा कि “मैं सबसे आग्रह करना चाहूँगा कि न भूले हमें उन्हें क्या देना है। उन्होंने कहा कि इस्लामिक स्टेट का अंत करने के निर्णय के बाबत अमेरिकी अधिकारियों को स्पष्टीकरण देना होगा।
अमेरिकी राष्ट्रपति का ऐलान
डोनाल्ड ट्रम्प ने ट्वीटर के जरिये जनता को पैगाम दिया कि हैं सीरिया में आईएसआईएस को शिकस्त दे दी है, मेरे राष्ट्रपति कार्यकाल के दौरान सेना की वहां तैनाती का यही कारण था। प्रशासन का पिछले सप्ताह आईएसआईएस को मात देने पर संशय था और अमेरिका का इस जंग में सहयोग जारी रखने की सलाह दी थी।
डोनाल्ड ट्रम्प ने ट्वीटर के जरिये जनता को पैगाम दिया कि हैं सीरिया में आईएसआईएस को शिकस्त दे दी है, मेरे राष्ट्रपति कार्यकाल के दौरान सेना की वहां तैनाती का यही कारण था। प्रशासन का पिछले सप्ताह आईएसआईएस को मात देने पर संशय था और अमेरिका का इस जंग में सहयोग जारी रखने की सलाह दी थी।
सीरिया पर विरोधी ईरान ने कहा कि अमेरिकी सेना की सीरिया में मौजूदगी एक गलती, तनाव का स्त्रोत और गैर तार्किक थी।