श्रीलंका एयरलाइंस का एक विशेष विमान शनिवार को कोरोना वायरस प्रकोप के केंद्र चीन के वुहान शहर में फंसे श्रीलंका के छात्रों और उनके परिवार के सदस्यों को लेकर कोलंबो पहुंचा। डेली मिरर अखबार ने अधिकारियों के हवाले से बताया कि इन लोगों को दियतालावा सैन्य शिविर में रखा जाएगा और उनकी जांच की जाएगी।
विशेष विमान यूएल-1422 शुक्रवार को बंडारानाइक इंटरनेशनल एयरपोर्ट (बीआईए) से वुहान के लिए रवाना हुआ था।
विदेश मंत्रालय ने कहा कि 30 जनवरी तक चीन में शेष बचे श्रीलंकाई छात्रों और परिवार के सदस्यों की संख्या 284 है। जब वायरस के प्रकोप का पता चला चला था, उस समय इनकी संख्या करीब 864 थी।
बयान में कहा गया है कि 580 व्यक्ति श्रीलंका लौट आए हैं।
इस बीच हवाई अड्डे व विमानन सेवा (श्रीलंका) लिमिटेड (एएएसएल) ने पुष्टि की है कि बीओआईए परिसर में वायरस की पहचान करने और जागरूकता फैलाने से लेकर कोरोना वायरस के प्रसार को कम करने के लिए सक्रिय कदम उठाए जा रहे हैं।
चीन में अब तक इस वायरस की चपेट में आकर 259 लोग अपनी जान गवां चुके हैं।
एएएसएल के अध्यक्ष सेवानिवृत्त मेजर जनरल जी. ए. चंद्रसिरी ने डेली फाइनेंशियल टाइम्स को बताया कि वह विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) द्वारा नोवेल कोरोना वायरस संक्रमण की रोकथाम और नियंत्रण के लिए सभी प्रक्रियाओं का पालन कर रहे हैं।
उन्होंने कहा, “पिछले कुछ दिनों में हमारे पास केवल चार संदिग्ध यात्री हवाई अड्डे पर आए लेकिन यह पुष्टि की गई है कि वे कोरोना वायरस से संक्रमित नहीं थे।”
श्रीलंका में कोरोना वायरस के पहले मामले की पुष्टि होने के बाद यह घटनाक्रम सामने आया। इससे पहले भारत और नेपाल में भी इस कोरोना वायरस का एक-एक मामला सामने आ चुका है। श्रीलंका अब दक्षिण एशिया का ऐसा तीसरा देश बन चुका है, जहां इस वायरस की पुष्टि हुई है।