वेनेजुएला में इस वर्ष महगांई एक करोड़ प्रतिशत बढ़ गयी है। यूरो न्यूज़ के मुताबिक, आईएमएफ के जानकारों का आंकलन है कि वेनेजुएला में साल 2019 में महंगाई एक करोड़ फीसदी बढ़ जाएगी। यानी एक उत्पाद की कीमत एक डॉलर से बढ़कर एक करोड़ डॉलर हो जाएगी। मौजूदा परिस्थितियों में वेनेजुएला की महीने की तनख्वाह एक एक गैलन ढूढ़ खरीदने के काबिल भी नहीं है।
वेनेजुएला अन्य राष्ट्रो के मुकाबले अधिक तेल उत्पादन के लिए मशहूर है लेकिन इन दिनों वह क्षमता से कम तेल का उत्पादन करता है। साल 1970 के दशक में 35 लाख डॉलर प्रति बैरल से अधिक उत्पादन था लेकिन अब देश 15 लाकग बैरल ही उत्पादन कर सकता है।
वेनेजुएला में साल 1958 से 1980 के दशक तक लोकतान्त्रिक सरकार की हुकूमत थी और यह देश दक्षिणी अमेरिका में सबसे अधिक अमीर राष्ट्र था। तेल कीमतों में साल 1980 गिरावट आना शुरू हुई और असफल आर्थिक नीतियों के कारण देश की अर्थव्यवस्था को धक्का लगा था।
वेनेजुएला की आवाम को गरीबी से बाहर निकालने के लिए व्यर्थ प्रयास किये गए थे। निकोलस मादुरो निरंतर न्यूनतम वेतन में वृद्धि और कमी करते रहे हैं। साल 2019 में मेक्रो प्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक उन्होंने वेतन को 4500 से 18000 बोलिवर प्रतिमाह करने के आदेश दिए थे।
जानकारों के मुताबिक, साल 2018 में वेनेजुएला में टॉयलेट पेपर के एक रोल की कीमत 26 लाख बोलिवर थी। एनबीसी न्यूज़ के अनुसार मध्य 2018 में वेनेजुएला में महंगाई एक करोड़ प्रतिशत तक बढ़ गयी थी।
वर्ल्ड इकोनॉमिक्स लिमिटेड के मुताबिक साल 2018 में वेनेजुएला की जीडीपी 276 अरब डॉलर थी और इसी वर्ष राज्य की जीडीपी 279.7अरब डॉलर थी।
ब्लूमबर्ग की रिपोर्ट के अनुसार वेनेजुएला में बेरोजगारी 44 फीसदी बढ़ गयी है और अगले साल 50 प्रतिशत बढ़ सकता है। हालाँकि देश ने साल 2016 से आधिकारिक बेरोजगारी के आंकड़ों को जारी नहीं किया गया है और 7.3 प्रतिशत बेरोजगारों का दावा किया जाता है।
वेनेजुएला में उत्पादन, कृषि और निर्यात बहुत हैरतअंगेज़ है और देश ने इस वर्ष एक क्वाटर आउटपुट में गिरावट आयी है। यहां की अर्थव्यवस्था लीबिया की गृह युद्ध की शुरुआत से भी बुरी हालत में हैं।
सीआईए फ़ैक्टबुक के अनुसार वेनेजुएला की अर्थव्यवस्था हालिया वर्षों में तेल के निर्यात पर ही निर्भर थी और सरकार का आधे से अधिक रेवेन्यू तेल निर्यात से ही आता था।