स्टार जिमनास्ट दीपा कर्माकर बाकू, अजरबैजान और दोहा, कतर में आगामी विश्व कप में भारत का प्रतिनिधित्व करने के लिए तैयार हैं। इन विश्वकपो के लिए दीपा का कहना है कि हर प्रतियोगिता बहुत कठिन होगी लेकिन वह दबाव महसूस नही करेगी।
14 मार्च को शुरू होने वाली इस प्रतिस्पर्धा से पहले कर्माकर ने एक टेलीफोनिक साक्षात्कार में आईएएनएस को बताया: ” प्रशिक्षण बहुत अच्छा चल रहा है। मैं अगरतला में प्रशिक्षण कर रही हूं (त्रिपुरा जहां मेरा गृह राज्य)। मैं यहा अपना सर्वश्रेष्ठ देने का प्रयास कर रही हूं।”
उनके लिए सभी प्रतियोगिताए सामान्य है।
युवा स्टार ने कहा, ” हम हमेश फिल्ड पर रहते है। चाहे वह ओलंपिक हो या विश्व चैंपियनशिप मेरे लिए हर चीज प्रतियोगिता सामान्य है। मेरे लिए, सभी मुकाबले बहुत कठिन होने वाले है।”
लेकिन उनका यह भी मानना है कि उनके ऊपर कोई दबाव नही है।
पिछले साल 18वें एशियन गेम्स में अपने निराशाजनक पांचवें स्थान की चर्चा करते हुए उन्होने कहा, “खिलाड़ियों का प्रदर्शन या तो ऊपर या नीचे जाता है। यह हमेशा से ऐसा ही रहा है। उदाहरण के लिए, मैंने एशियाई खेलों में अच्छा प्रदर्शन नहीं किया … जो भी कारण था।”
जिन्होंने 2018 में तुर्की के मेर्सिन में आर्टिस्टिक जिम्नास्टिक वर्ल्ड चैलेंज कप में महिलाओं की वॉल्ट स्पर्धा में स्वर्ण पदक जीता था ने कहा, “लेकिन मुझे कोई दबाव नहीं है। मुझे अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करना होगा, मुझे पहले खुद को संतुष्ट महसूस करने की जरूरत है।”
जैसे की उनके प्रतिस्पर्धी खिलाड़ी रुस और यूएस से होंगे ऐसे में उनका ध्यान केवल अच्छे स्कोर के साथ पोडियम पर टॉप पर फिनिश करने का होगा।
उतार-चढ़ाव के बारे में बात करते हुए, दीपा ने 2017 में पूर्वकाल क्रूसिएट लिगामेंट (एसीएल) की चोट के लिए सर्जरी के बाद लगभग दो साल तक बाहर बैठना पड़ा।
उन्होने कहा, ” मैंने बीच में बिलकुल अभ्यास नही किया….एक स्पोर्ट्स खिलाड़ी होने के नाते यह बात आपके लिए बिलकुल अच्छी नही होती।”
25 वर्षीय जिमनास्ट खिलाड़ी तब सुर्खियो में जब वह 2016 रियों ओलंपिक में कांस्य पदक लेने से चूंक गई थी। और उन्हे चौथा स्थान प्राप्त हुआ था। ओलंपिक जैसे बड़े टूर्नामेंट में जिमनास्ट में चौथा स्थान पाना भी उनके लिए बहुत बड़ी बात थी। साथ ही साथ उनके इस जज्बे को भी देश ने सलाम किया था।