लीबिया की राजधानी में रविवार को कई हवाई हमले और विस्फोट हुए थे। त्रिपोली में खलीफा हफ्तार के आक्रमण के बाद हिंसक गतिविधियां जारी है। स्थानीय निवासियों के मुताबिक, उन्होंने शहर के ऊपर एक एयरक्राफ्ट देखा था जो 10 मिनट तक चक्कर लगा रहा था और त्रिपोली के दक्षिणी जिलों में विस्फोट की आवाजे सुनाई दी थी।
त्रिपोली में हमले
दा गार्डियन के मुताबिक शनिवार को संयुक्त राष्ट्र समर्थित लीबिया यूनिटी गवर्मेंट ने जनरल खलीफा हफ्तार के लड़ाकों के खिलाफ जवाबी कार्रवाई का अभियान शुरू किया था। 4 अप्रैल को हफ्तार ने अपनी सेना को राजधानी पर नियंत्रण के लिए आक्रमण के आदेश दिए थे।
तानाशाह मुअम्मर अल गद्दाफी की मौत के बाद लीबिया दो हिस्सों में बंट गया था। एलएनए समर्थित सरकार का पूर्वी लीबिया पर नियंत्रण है वहीं यूएन समर्थित सरकार गवर्मेंट ऑफ़ नेशनल एकॉर्ड का पश्चिमी क्षेत्रों पर आधिपत्य है जिसमे राजधानी भी शामिल है।
सैन्य सूत्रों के मुताबिक, दोनों पक्ष रुसी और सोवियत संघ के लड़ाकू विमानों का इस्तेमाल कर रही है। हफ्तार की सेना के त्रिपोली पर लूच के बाद 200 से अधिक लोगो की मौत हो गयी है और 913 से अधिक लोग बुरी तरह जख्मी है। देश में बर्बरता के कारण करीब 30000 लोग विस्थापित हुए हैं।
शुरुआत में अमेरिकी सरकार जीएनए का समर्धन करती थी जिसके प्रधानमंत्री फ़ाएज़ अल सर्राज है लेकिन अमेरिकी राजनयिकों और सैन्य अधिकारीयों का रूसी समर्थित हफ्तार से भी संपर्क साध रखे हैं। अधिकतर अंतर्राष्ट्रीय समुदाय ने गहन युद्ध के शांतिपूर्ण समाधान की मांग की है ताकि अफ्रीकी राष्ट्र में शान्ति कायम हो सके।
संयुक्त राष्ट्र समर्थित प्रधानमंत्री फायेज अल-सेराज ने जनरल हफ्तार की सेनाओं द्वारा किए गए हमले के बीच अपने अंतर्राष्ट्रीय सहयोगियों की ‘चुप्पी’ की गुरुवार को निंदा की। हाल ही अमेरिकी राष्ट्रपति ने हफ्तार से फोन पर बातचीत की थी। व्हाइट हाउस ने कहा कि ट्रंप और जनरल हफ्तार ने ‘लीबिया को एक स्थिर, लोकतांत्रिक राजनीतिक प्रणाली में परिवर्तित करने के लिए एक साझा दृष्टिकोण पर चर्चा की।’