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    गवर्नर शक्तिकांत दास ने शुक्रवार को केंद्रीय बैंक की मौद्रिक नीति समिति के प्रमुख दरों पर निर्णयों को लेकर प्रेस कॉन्फ्रेंस किया। आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने कहा, ‘आरबीआई की मौद्रिक नीति समिति ने कोविड-19 के असर को खत्म करने के लिए जब तक जरूरत पड़ती है, मौद्रिक रुख को उदार बनाए रखने का फैसला किया है।रेपो रेट पहले की तरह 4 फीसदी और रिवर्स रेपो रेट 3.35 फीसदी है।

    मार्जिनल स्टैंडिंग फैसिलिटी दर और बैंक दर 4.25 फीसद पर अपरिवर्तित हैं। रिवर्स रेपो रेट में भी किसी तरह का बदलाव नहीं हुआ है। यानी की आपकी ईएमआई या लोन की ब्याज दरें पहले जितनी ही रहेंगी इसमें नई राहत नहीं दी गई है। इसके साथ ही गवर्नर शक्तिकांत दास ने ये भी बताया कि फिस्कल ईयर 2021 में रियल जीडीपी -7.3 फीसदी रही। वहीं अप्रैल में महंगाई दर 4.3 फीसदी रही जो राहत है। उन्होंने ये भी कहा कि अच्छे मॉनसून से इकॉनमी का रिवाइवल संभव है। आरबीआई की कमिटी ने फैसला किया है कि जब तक कोविड-19 का खत्म नहीं होता है तब तक मौद्रिक रुख को ‘उदार’ बना रहेगा।

    आरबीआई अपनी मौद्रिक पॉलिसी में अर्थव्यवस्था की स्थिति के बारे में भी बताता है। वह महंगाई यानी मुद्रास्फीति का अपना अनुमान भी पेश करता है। आरबीआई की एमपीसी ने 31 मार्च, 2026 तक मुद्रास्फीति की सालाना दर के लिए 4 फीसदी का लक्ष्य तय किया है। इसके इस स्तर से 2 फीसदी बढ़ने या 2 फीसदी घटने की गंजाइश शामिल होगी।

    आरबीआई ने चालू वित्त वर्ष के लिए जीडीपी ग्रोथ के अपने अनुमान को घाटकर 9.5 फीसदी कर दिया है। पहले उसने ग्रोथ 10.5 फीसदी रहन का अनुमान जताया था। केंद्रीय बैंक ने अर्थव्यवस्था पर कोरोना की दूसरी लहर के असर को देखते हुए ग्रोथ का अनुमान घटा दिया है।

    गवर्नर शक्तिकांत दास ने कहा कि प्राइस प्रेशर को घटाने के लिए सरकार का कदम जरूरी है। कमजोर मांग की वजह से प्राइस प्रेशर का दबाव है। महंगे क्रूड और लॉजिस्टिक्स कॉस्ट में उछाल से प्राइस प्रेशर की स्थिति बनी हुई है। ऐसे माहौल में हर तरह से पॉलिसी सपोर्ट जरूरी है।

    दास ने कहा कि टीकाकरण से अर्थव्यवस्था में स्थिरता आना मुमकिन है। ग्लोबल ट्रेंड सुधरने से एक्सपोर्ट बढ़ेगा। इसके साथ ही आरबीआई ने बताया कि जी-सैप 1.0 को अच्छा रिस्पांस मिला है जिसके बाद अब जी-सैप 2.0 को लाने का फैसला किया गया है। जी-सैप 2.0 के तहत 1.2 लाख करोड़ का ऑक्शन होगा।

    अप्रैल और मई, 2021 में शहरी मांग मासिक आधार पर नरमी को दिखाते हैं। वैश्विक कारोबार में एक बार फिर से तेजी का रुख देखने को मिल रहा है। शक्तिकांत दास ने कहा कि राजकोषीय प्रोत्साहन और टीकाकरण से अर्थव्यवस्था में स्थिरता आएगी। वैश्विक ट्रेंड सुधरने से निर्यात बढ़ेगा। टूरिज्म एवं हॉस्पिटैलिटी सेक्टर को कोरोना वायरस महामारी से उबारने के लिए रिजर्व बैंक के गवर्नर ने एलान किया कि बैंकों के माध्यम से इन सेक्टर को राहत दी जाएगी। शुक्रवार को मौद्रिक नीति की समीक्षा का एलान करते हुए दास ने कहा कि 15000 करोड़ रुपये की नकदी की व्यवस्था बैंकों को जाएगी। इससे बैंक होटल, टूर ऑपरेटर, रेस्टोरेंट, प्राइवेस बस ऑपरेटर आदि को किफायती लोन दे स

    By आदित्य सिंह

    दिल्ली विश्वविद्यालय से इतिहास का छात्र। खासतौर पर इतिहास, साहित्य और राजनीति में रुचि।

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