कोरोना मरीजों के आंकड़े रोज नया रिकॉर्ड छू रहे हैं। देशभर में बुधवार को 24 घंटे में 3 लाख 15 हजार 478 नए संक्रमित मिले, जबकि 2,101 लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ी। यह लगातार दूसरा दिन है जब देश में मौतों का आंकड़ा 2 हजार की संख्या को पार कर गया।
देश में अभी 22 लाख 84 हजार 209 मरीजों का इलाज चल रहा है। यह कुल संक्रमितों की संख्या का 14.3 फीसदी है। बुधवार को रिकॉर्ड 1 लाख 79 हजार 372 मरीज ठीक हुए। संक्रमण से अब तक 1 लाख 84 हजार 672 लोगों की मौत हो चुकी है। मंगलवार को 2.94 लाख नए मरीज सामने आए थे। वहीं 2,021 लोगों की जान गई थी।
कोरोना महामारी की शुरुआत से लेकर अब तक एक दिन में संक्रमितों की यह संख्या पूरी दुनिया में सर्वोच्च है।इसके पहले विश्व में एक दिन में सर्वाधिक नए संक्रमित मिलने का रिकॉर्ड अमेरिका के पास था। अमेरिका में 8 जनवरी, 2021 को 3 लाख 07 हजार 570 नए संक्रमित मिले थे, लेकिन अब इस मामले में भारत सबसे आगे निकल गया है।
11 राज्यों में हालात बेकाबू
महाराष्ट्र, दिल्ली, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश समेत 11 राज्यों में हालात बेकाबू होते जा रहे हैं. इन राज्यों में रिकॉर्ड संख्या में लोग संक्रमित पाए जा रहे हैं। महाराष्ट्र में पिछले 24 घंटे के अंदर 62,097, उत्तर प्रदेश में 29,574, दिल्ली में 28,395, केरल में 19,577, कर्नाटक में 21,794, छत्तीसगढ़ में 15,625, राजस्थान में 12,201, मध्यप्रदेश में 12,727 , गुजरात में 12,206, तमिलनाडु में 10,986, बिहार में 10,455 लोगों की कोरोना रिपोर्ट पॉजिटिव आई।
रिकवरी रेट 85 फीसदी से नीचे
कोरोना संक्रमित लोगों के स्वस्थ होने की दर गिरकर 84.5 प्रतिशत रह गई है। आंकड़ों के मुताबिक इस बीमारी से स्वस्थ होने वाले लोगों की संख्या बढ़कर 1,34,47,040 हो गई है। कोरोना से राष्ट्रीय स्तर पर मृत्यु दर गिरकर 1.20 प्रतिशत हो गई है, लेकिन महाराष्ट्र में यह दर 1.5 फीसदी और पश्चिम बंगाल में 1.6 फीसदी है।
ऑक्सीजन की किल्लत
इस बीच, महाराष्ट्र समेत कई राज्य मेडिकल ऑक्सीजन की कमी से जूझ रहे हैं। महाराष्ट्र में ऑक्सीजन स्टोरेज टैंक में रिसाव के कारण दम घुटने से वेंटिलेटर पर मौजूद 24 रोगियों की मौत हो गई। वहीं, उत्तर प्रदेश और असम के बाद मध्य प्रदेश, बिहार और छतीसगढ़ ने भी 18 वर्ष से अधिक आयु के लोगों को नि:शुल्क टीके लगाने की घोषणा की है। इसके अलावा अधिकारियों ने आंकड़े पेश किये हैं, जिनमें कहा गया है कि टीकों से संक्रमण का खतरा कम हो जाता है। साथ ही मौत और गंभीर संक्रमण से बचा जा सकता है।
नीति आयोग के सदस्य (स्वास्थ्य) डॉ वी के पॉल ने संवाददाता सम्मेलन में राज्यों, अस्पतालों और कई नर्सिंग होम से अपील की कि ऑक्सीजन का समुचित उपयोग सुनिश्चित करें क्योंकि यह कोरोना वायरस संक्रमित रोगियों के लिए ‘जीवन रक्षक’ है।