महाराष्ट्र में सरकार गठन को लेकर अभी भी शिवसेना और कांग्रेस कोशिशों में जुटी हुई हैं। माना जा रहा है कि शिवसेना और एनसीपी के बीच सीएम पद के उम्मीदवार पर फैसला हो जाने के बाद महाराष्ट्र में सरकार का गठन जल्द हो सकता है। महाराष्ट्र में सरकार गठन को लेकर एनसीपी नेता शरद पवार ने कहा है कि सरकार बनाने की प्रक्रिया शुरू की जा चुकी है। नई सरकार राज्य में पांच वर्ष का कार्यकाल पूरा करेगी।
राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) अध्यक्ष शरद पवार ने शुक्रवार को कहा कि प्रस्तावित शिवसेना-राकांपा-कांग्रेस सरकार का गठन जल्द होगा और यह अपना कार्यकाल पूरा करेगी। यहां पत्रकारों से बात करते हुए उन्होंने राज्य में मध्यावधि चुनाव की संभावना को खारिज कर दिया। राज्य में अभी राष्ट्रपति शासन लागू है।
पवार ने कहा, “तीनों पार्टियां गंभीरता से राज्य में स्थिर सरकार चाहती हैं जो न्यूनतम साझा कार्यक्रम के तहत राज्य की प्रगति और विकास पर टिकी होगी।”
उन्होंने कहा कि मौजूदा समय में तीनों पार्टियां लगातार वार्ता कर अपने न्यूनतम साझा कार्यक्रम तैयार कर रही है और अंतिम रोडमैप उसके बाद ही तैयार होगा।
पवार ने इन खबरों को खारिज कर दिया कि सरकार बनाने को लेकर उनकी भारतीय जनता पार्टी से किसी तरह की बातचीत हुई है या इस मामले में कुछ कॉरपोरेट घरानों का दबाव है।
पवार ने कहा, “हम केवल कांग्रेस, शिवसेना और गठबंधन के अन्य साथियों के साथ वार्ता कर रहे हैं। इसके अलावा कुछ नहीं, तीनों पार्टियों के प्रतिनिधि न्यूनतम साझा कार्यक्रम मसौदे को अंतिम रूप देने के लिए मुलाकात कर रहे हैं।”
यह पूछे जाने पर कि क्या शिवसेना अपने हिंदुत्व एंजेंडे और उसी तरह कांग्रेस-राकांपा अपने धर्मनिरपेक्ष विचारधार के साथ समझौता करेगी, इस पर उन्होंने कहा कि कांग्रेस-राकांपा ने हमेशा धर्मनिरपेक्षता की बात की है, ‘लेकिन इसका मतलब यह नहीं है कि हम किसी के विरुद्ध हैं।’
सत्ता-साझेदारी और मुख्यमंत्री पद को लेकर पूछे गए सवाल में उन्होंने कहा कि एक बार न्यूनतम साझा कार्यक्रम तैयार हो जाए और इसे सभी के द्वारा स्वीकार कर लिया जाए, उसके बाद सबकुछ तय हो जाएगा।
उम्मीद है कि पवार रविवार को नई दिल्ली में कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी से मुलाकात करेंगे और यहां शिवसेना से हुई बातचीत से उन्हें अवगत कराएंगे और आगे की रणनीति पर चर्चा करेंगे।
इसे लेकर शिवसेना नेता संजय राउत ने कॉमन मिनिमम प्रोग्राम का भी जिक्र किया है। उन्होंने कहा है कि कॉमन मिनिमम प्रोग्राम महाराष्ट्र के हित में होगा। संजय राउत ने महाराष्ट्र में मुख्यमंत्री के कार्यकाल को लेकर जब पूछा गया कि राज्य का सीएम पांच वर्षों के लिए शिवसेना का होगा या फिर शिवसेना व एनसीपी दोनों दल 2.5-2.5 वर्ष के लिए मुख्यमंत्री पद को संभालेंगे। इसे लेकर संजय राउत ने कहा कि हम तो चाहते हैं कि 25 सालों तक शिवसेना का सीएम रहे। आप पांच साल की बात क्यों करते हो?
महाराष्ट्र में सीएम पद को लेकर चल रहे विवाद में एनसीपी नेता नवाब मलिक की प्रतिक्रिया भी सामने आई है। उन्होंने कहा है कि यह सवाल बार-बार पूछा जा रहा है कि शिवसेना का सीएम होगा क्या ? सीएम के पोस्ट को लेकर ही शिवसेना और बीजेपी के बीच विवाद हुआ है। तो निश्चित रूप से शिवसेना का सीएम होगा। शिवसेना को अपमानित किया गया है, उनका स्वाभिमान बनाए रखना हमारी जिम्मेदारी बनती है।
बता दें, इससे पहले महाराष्ट्र में सीएम पद को लेकर शिवसेना और बीजेपी के बीच कोई सहमती नहीं बन पाई थी। जिस कारण दोनों पार्टियों के बीच दरार आ गई थी और दोनों ने अपने रास्ते अलग कर लिए थे।