Mon. Dec 23rd, 2024
    kamalnath

    मध्य प्रदेश में मंत्री पद के बंटवारे ने न केवल समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव को परेशान किया है, बल्कि कई कांग्रेस और निर्दलीय विधायक भी इस पर आंसू बहा रहे हैं। कम से कम दो कांग्रेस विधायक सार्वजनिक रूप से यह कहते पाए गए कि उन्हें मंत्री पद का वादा किया गया था। कांग्रेस का समर्थन करने वाले निर्दलीय ने ऐसे ही प्रलोभन के आरोप लगाये।

    बेहद नजदीकी मुकाबले में राज्य की 230 सीटों में से 114 सीटें जीतने वाली कांग्रेस को 116 के जादुई आंकड़े तक पहुंचने के लिए समाजवादी पार्टी और निर्दलीय उम्मीदवारों के समर्थन को स्वीकार करना पड़ा। क्रिसमस के दिन, 28 मंत्रियों ने मंत्रिपद की शपथ ली।

    मंत्रिमंडल में मुख्यमंत्री कमलनाथ कैम्प के 11, पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह कैम्प के 9 और ज्योतिरादित्य सिंधिया कैम्प के 7 विधायकों के आलावा और राज्य पार्टी प्रमुख अरुण यादव के एक समर्थक शामिल हैं।

    उच्च स्तरीय मंत्रालयों के लिए कमलनाथ, दिग्विजय और सिंधिया कैम्प में काफी खींचतान देखने को मिली जिसके बाद कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गाँधी ने मसले को सुलझाया। लेकिन फिर भी कुछ लोग छूट गए।

    मनावर के कांग्रेस विधायक डॉ हीरालाल अलावा ने बताया कि उन्होंने राहुल गांधी को पत्र लिखकर मुलाकात के लिए कहा है। उन्होंने कहा कि पार्टी ने उन्हें सत्ता में आने पर मंत्री पद देने का वादा किया था। यह आदिवासियों का समर्थन था – जिनके बीच उनका काफी समर्थन है – जिससे मालवा-निमाड़ बेल्ट में कांग्रेस को इतना अच्छा प्रदर्शन करने में मदद मिली।

    एक अन्य कांग्रेस विधायक हरदीप सिंह डांग का कहना है कि उन्हें मंत्रिमंडल में शामिल किया जाना चाहिए क्योंकि वह मंदसौर लोकसभा सीट के तहत आने वाली आठ विधानसभा सीटों में से एक जीतने वाले एकमात्र विधायक हैं। मंदसौर  भाजपा का गढ़ है।

    सुमावली में, कांग्रेस के ऐदल सिंह कंसाना के समर्थकों ने अंबा में हिंसा का सहारा लिया और उनके लिए एक मंत्रालय की मांग की। उन्होंने पिपराई के पास राजमार्ग को अवरुद्ध कर दिया और कार के टायरों में आग लगा दी। दो अन्य निर्दलीय  विधायक सुसनेर के विक्रम सिंह राणा और भगवानपुरा के केदार डावर भी मंत्री पद नहीं मिलने से परेशान हैं।

    कल समाजवादी पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव ने भी एकलौते समाजवादी विधायक को मंत्रिमंडल में शामिल नहीं करने पर नाराजगी जताई थी और इशारा किया था कि उत्तर प्रदेश में महागठबंधन में कांग्रेस शामिल नहीं होगी।

    By आदर्श कुमार

    आदर्श कुमार ने इंजीनियरिंग की पढाई की है। राजनीति में रूचि होने के कारण उन्होंने इंजीनियरिंग की नौकरी छोड़ कर पत्रकारिता के क्षेत्र में कदम रखने का फैसला किया। उन्होंने कई वेबसाइट पर स्वतंत्र लेखक के रूप में काम किया है। द इन्डियन वायर पर वो राजनीति से जुड़े मुद्दों पर लिखते हैं।

    Leave a Reply

    Your email address will not be published. Required fields are marked *