Sat. Oct 12th, 2024

    नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) और राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (एनआरसी) को लेकर इन दिनों देश में बहस जारी है। ऐसे में मध्य प्रदेश के एक अधिकारी ने एनआरसी पर सुझाव देते हुए कहा है कि भ्रष्ट लोगों को देश का नागरिक होने का अधिकार नहीं है। राज्य में उप-सचिव के पद पर कार्यरत नियाज खान की पहचान एक लेखक के तौर पर भी है। सोशल मीडिया पर अपनी टिप्पणी के कारण वे कई बार चर्चाओं में रहे हैं।

    एक बार फिर सोशल मीडिया पर अपनी राय जाहिर करते हुए उन्होंने कहा, “सरकारी धन की चोरी करने वाले सभी लोगों के खिलाफ एनआरसी होनी चाहिए। राष्ट्र का हर पैसा रोटी के लिए संघर्ष कर रहे गरीब नागरिक का है। यहां तक कि बच्चों के पास खुद को ढंकने के लिए कोई कपड़ा नहीं है। गरीबी के लिए सरकारी प्राधिकरण वाले भ्रष्ट लोग जिम्मेदार हैं।”

    उन्होंने बड़बोलों पर हमला करते हुए कहा, “जो कोई भ्रष्ट है उसे नागरिक होने का कोई अधिकार नहीं है, लेकिन यह दुर्भाग्यपूर्ण है, ऐसे भ्रष्ट लोग खुद को सबसे बड़ा देशभक्त दिखाते हैं। अगर ऐसे लोग एनआरसी से बाहर निकाल दिए जाते हैं तो देश स्वच्छ होगा।”

    नियाज खान का मानना है कि यदि भ्रष्ट लोगों के खिलाफ एनआरसी की प्रक्रिया की जाती है, तो इससे रोजगार के अवसर भी बढ़ेंगे।

    एक अन्य ट्वीट में नियाज खान ने कहा, “मेरा विश्वास करें, अगर इसे सच्चे दिल से अंजाम दिया जाता है, तो सरकारी प्राधिकरण के साथ अधिकांश सार्वजनिक पद खाली हो जाएंगे। ईमानदार लोगों को राष्ट्र की सेवा करने का अवसर मिल सकता है।”

    राज्य प्रशासनिक सेवा के अधिकारी नियाज खान की पहचान एक लेखक के तौर पर भी है। उन्होंने लिखा, “भारत के एक लेखक और नागरिक के रूप में मैं माननीय प्रधानमंत्री से इस बात पर विचार करने का अनुरोध करता हूं। यह समय की तत्काल जरूरत है। केवल ईमानदार लोगों को ही देश का नागरिक होना चाहिए।”

    गौरतलब है कि नियाज खान अपनी टिप्पणी के कारण कई बार चर्चाओं में रहे हैं। एक बार फिर उन्होंने अपने सुझाव के जरिए नई बहस को जन्म दे दिया है। नियाज खान इससे पहले मॉब लिंचिंग के दौरान अपने एक बयान के चलते चर्चाओं मंे रहे थे।

    तब उन्होंने अपनी किताब और अपना नया नाम खोजने का उल्लेख करते हुए कहा था, “पिछले छह महीनों से मैं इस पुस्तक के लिए और अपने लिए एक नया नाम ढूंढ रहा हूं, ताकि मैं अपनी मुस्लिम पहचान छिपा सकूं। खुद को नफरत की तलवार से बचाने के लिए यह जरूरी है।”

    नियाज खान ने ‘डेस्टिनी इन ड्रग्स’, ‘ब्लैक ग्रेव’, ‘अनटोल्ड सीक्रेट ऑफ माई आश्रम’, ‘लव डिमांड्स ब्लड’ और ‘तलाक’ नामक उपन्यास लिखे हैं।

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