चीन ने शुक्रवार को कहा कि उन्हें उम्मीद है कि भारत और पाकिस्तान शांतिपूर्ण तरीके से कश्मीर और अन्य द्विपक्षीय विवादों को बातचीत के जरिये सुलझा लेंगे। दुनिया न्यूज़ के हवाले से चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा कि बीजिंग भी अंतरराष्ट्रीय समुदाय का समर्थन करता है। अमेरिका दोनो एशियाई राष्ट्रों के बीच वार्ता के जरिये संबंधों को सुधारने में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है।
प्रवक्ता ने कहा कि पड़ोसी होने में नाते चीन संजीदगी से यह चाहता है कि भारत और पाक सौहार्दपूर्ण माहौल में रहे। उन्होंने कहा कि हिमे उम्मीद है कि भारत और पाकिस्तान शांतिपूर्ण तरीके से कश्मीर और अन्य द्विपक्षीय विवादों को बातचीत के जरिये सुलझा लेंगे और दक्षिण एशिया में शांति और स्थिरता की सुरक्षा के लिए प्रयास करेंगे।
चीनी विदेश मंत्रालय का बयान तब आया है जब हाल ही में डोनाल्ड ट्रम्प ने पाकिस्तानी प्रधानमंत्री इमरान खान से मुलाकात की थी और उन्होंने कहा कि वह भारत और पाकिस्तान के बीच कश्मीर मसले को सुलझाने के लिए मध्यस्थता करना पसन्द करेंगे। साथ ही बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नही उनसे मध्यस्थता का आग्रह किया था।
डोनाल्ड ट्रंप के बयान के बाद भारत के विदेश मंत्रालय ने स्पष्ट किया है पीएम मोदी ने डोनाल्ड ट्रंप से मध्यस्थता का कोई आग्रह नही किया था और पकिस्तान के साथ सभी विवादित मुद्दों पर ऐरफ द्विपक्षीय वार्ता ही कि जाएगी।
राज्य सभा को संबोधित करते हुए विदेश मंत्री ने कहा कि “मैं निसंदेह यह कहना चाहूँगा कि प्रधानमन्त्री ने अमेरिका के राष्ट्रपति से ऐसा कोई भी आग्रह नहीं किया था। संसद में विपक्षी सियासी दलों ने इस मुद्दे को उठाया था।” उन्होंने कहा कि “जिस तरीके से विपक्ष ने विरोध किया और अराजकता फैलाई, ट्रम्प के बयान पर पीएम के स्पष्टीकरण को गैर जिम्मेदाराना बताया। जबकि अमेरिका की सरकार भी अपने राष्ट्रपति के दावे को ख़ारिज कर रही है।”