संयुक्त राष्ट्र आर्थिक और सामाजिक परिषद् में भारत ने हैरतअंगेज़ करने वाला निर्णय लिया है। भारत ने इजराइल के प्रस्तावित किये निर्णय के पक्ष में वोट किया है जिसके तहत इजराइल ने फिलिस्तीन की गैर सरकारी संगठन को दर्जा देने की बात का विरोध किया गया है।
इसके बाद यहूदी देश ने कहा कि “संगठन ने हमास के साथ अपने संबंधों को उजागर नहीं किया है।” इजराइल ने यूएन की बैठक में 6 जून को एक मसौदा निर्णय को प्रस्तावित किया था, जिसका शीर्षक “एप्लीकेशन ऑफ़ द नॉन गवर्मेंटल आर्गेनाइजेशन फिलिस्तीन एसोसिएशन फॉर ह्यूमन राइट्स” है। इसमें एक गैर सरकारी संगठन को परामर्शकर्ता का दर्जा न देने की हिमायत की गयी थी।
इस निर्णय के समर्थन में 28 वोट पड़े थे और विपक्ष में 25 मत दिए गए थे। इसमें पांच गैर मौजूद थे। पक्ष में मतदान करने वाले देशों में ब्राज़ील, कनाडा, कोलोम्बिया, फ्रांस, जर्मनी, भारत, आयरलैंड, जापान, कोरिया, यूक्रेन, ब्रिटेन और अमेरिका थे।
इसके बाद इजराइल ने भारत की सराहना की और भारत में इजराइल के मिशन की उप सचिव माया कदोष ने ट्वीट किया कि “इजराइल के साथ खड़े होने और आतंकी संगठन शाहिद के आग्रह को खारिज करने के लिए शुक्रिया भारत। यह यूएन में निरीक्षक का दर्जा चाहते थे। एकसाथ हम आतंकी संगठनों के खिलाफ कार्रवाई करना जारी रखेंगे।”
Thank you #India for standing with @IsraelinUN and rejecting the request of terrorist organization “Shahed” to obtain the status of an observer in #UN. Together we will continue to act against terrorist organizations that intend to harm. pic.twitter.com/erHTfuY1A1
— Maya Kadosh (@MayaKadosh) June 11, 2019
परिषद् ने गैर सरकारी संगठन के आवेदन को वापस लौटाने का निर्णय लिया है क्योंकि संगठन महत्वपूर्ण सूचना को रखने में असफल साबित हुआ है जब इस वर्ष की शुरुआत में एनजीओ पर बातचीत के दौरान विचार किया जा रहा था।
यूएन वेबसाइट के मुताबिक, आर्थिक और सामाजिक परिषद् ने फिलिस्तीन एसोसिएशन ऑफ़ ह्यूमन राइट्स के आवेदन को वापस लौटाने का निर्णय लिया है।