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    रतलाम, 13 मई (आईएएनएस)| कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने सोमवार को यहां प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को तपस्वी कहते हुए तंज कसा और उनकी सरकार को अहंकारी बताया।

    मध्य प्रदेश के रतलाम में कांग्रेस उम्मीदवार के समर्थन में एक जनसभा को संबोधित करते हुए प्रियंका ने कहा, “प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कहने लग गए हैं कि वह बहुत बड़े तपस्वी हैं, 50 सालों की तपस्या के जरिए ही आपके लिए कितने बड़े-बड़े काम किए हैं। तपस्या अहंकार को तोड़ती है, तपस्या क्रोध और नफरत का विनाश करती है, मगर इनकी तपस्या ने अहंकार नहीं तोड़ा है। आज इस सरकार का अहंकार इतना बढ़ चुका है कि चुनाव प्रचार में बड़ी-बड़ी सभाओं में आते हैं, मगर अपने ही संसदीय क्षेत्र वारणासी में पांच साल में पांच मिनट का समय नहीं मिला कि एक भी गरीब-किसान के घर जाएं।”

    प्रधानमंत्री पर तीखा हमला करते हुए प्रियंका ने कहा, “तप करने वाले इंसान दर्दमंदों के दर्द पर अपनी सत्ता की इमारत नहीं बनाते। तप करने वाले आदिवासियों का मजाक नहीं उड़ा सकते। भूमि अधिगृहण का कानून इन्होंने नष्ट किया है। असलियत यह है कि कांग्रेस भूमि अधिग्रहण का कानून लेकर आई और इनके शासनकाल में उस कानून को तोड़ा गया।”

    किसानों की बदहाली का जिक्र करते हुए प्रियंका गांधी ने कहा, “पिछले पांच सालों में किसानों को नकारा गया, तपस्वी प्रधानमंत्री फसल का उचित दाम नहीं दिला पाए। प्रधानमंत्री 12 हजार किसानों की आत्महत्या को देखकर भी मौन रहे। इतना ही नहीं जब देश भर से हजारों किसान हर प्रदेश के किसान नंगे पांव पैदल दिल्ली शहर में आए, प्रधानमंत्री के द्वार तक आए, किसानों के हाथ जोड़ने पर भी तपस्वी प्रधानमंत्री किसानों से मिल नहीं पाए।”

    प्रियंका ने आगे कहा, “तपस्वी प्रधानमंत्री के पास किसानों, गरीबों के लिए समय नहीं है। समय है तो दुनिया भर के नेताओं से मिलने, भ्रमण करने के लिए, मगर अपने देश हिदुस्तान के गरीबों के लिए उनके पास कोई समय नहीं रहा। दो करोड़ युवाओं को हर साल रोजगार देने का वादा किया था, मगर तपस्वी प्रधानमंत्री के पास नौजवानों की आवाज भी सुनने का समय नहीं है।”

    नोटबंदी को लेकर प्रियंका ने सरकार पर हमला किया और कहा, “आप कतार में लग जाइए, आपने अपनी देशभिक्त दिखाई। आपको गुमराह करके कहा कि देश का सारा कालाधन वापस आ जाएगा, असलियत यह है कि एक भी रुपया कालाधन वापस नहीं आया। तपस्वी प्रधानमंत्री ने सिर्फ नोटबंदी के जरिए 50 लाख रोजगार खत्म कर डाले।”

    बीते पांच साल के शासन को प्रचार का कार्यकाल बताते हुए प्रियंका गांधी ने कहा, “चुनाव के समय आमतौर पर राजनीतिक दलों के नेता आते हैं, उन्हें आपकी समस्याओं पर बात करनी चाहिए। समस्याओं को आगामी पांच साल में कैसे हल किया जाएगा और पिछले पांच सालों में उन्होंने आपके लिए क्या किया, इसे बताना चाहिए। लेकिन वर्ष 2014 से 2019 तक एक अजीब-सा सिलसिला जारी है। वह यह कि सिर्फ प्रचार ही प्रचार चल रहा है और काम नहीं हो रहा।”

    इस मौके पर मुख्यमंत्री कमलनाथ ने कहा, “राज्य में 125 दिनों पहले कांग्रेस की सरकार बनी। आचार संहिता लगने से पहले 75 दिन काम करने का मौका मिला। 21 लाख किसानों का कर्ज माफ किया गया। आचार संहिता खत्म होते ही शेष किसानों का कर्ज माफ किया जाएगा।”

    By पंकज सिंह चौहान

    पंकज दा इंडियन वायर के मुख्य संपादक हैं। वे राजनीति, व्यापार समेत कई क्षेत्रों के बारे में लिखते हैं।

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