Thu. Nov 14th, 2024

    प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को राज्यों और जिलों के फील्ड ऑफिसर्स के साथ बैठक की। इस दौरान कोरोना के हालात और इससे निपटने के उनके अनुभवों पर चर्चा की। उन्होंने फील्ड ऑफिसर्स से कहा कि कोरोना के खिलाफ इस युद्ध में आपकी बहुत अहम भूमिका हैं। आप युद्ध के कमांडर हैं। किसी भी युद्ध में कई कमांडर कई योजनाओं को मूर्त रूप देते हैं, लड़ाई लड़ते हैं और हालात के हिसाब से फैसला करते हैं। आप भारत की लड़ाई के महत्वपूर्ण फील्ड कमांडर हैं। उन्होंने कहा कि आप एक भी प्रयास मत छोड़िए।

    उन्होंने कहा कि वायरस के खिलाफ हमारे हथियार लोकल कंटेनमेंट जोन, एग्रेसिव टेस्टिंग, लोगों तक सही और पूरी जानकारी पहुंचाना है। हॉस्पिटल में बेड कहां और कितने हैं, इस जानकारी से लोगों को सहूलियत होगी। कालाबाजारी करने वालों पर सख्त कार्रवाई हो।

    हर जिले की अलग-अलग चुनौतियां- पीएम

    इसके अलावा पीएम मोदी ने कहा कि हमारे देश में जितने जिले हैं, उतनी ही अलग अलग चुनौतियां भी हैं। आप अपने जिले की चुनौतियों को अच्छे से समझते हैं। इसलिए जब आपका जिला जीतता है, तो देश जीतता है। आपका जिला कोरोना को हराता है, तो देश कोरोना को हराता है।

    वायरस से लड़ाई के खिलाफ ये हैं हथियार

    प्रधानमंत्री मोदी ने अपने संबोधन में बताया कि वायरस से लड़ने के खिलाफ हमारे हथियार हैं- लोकल कन्टेनमेंट जोन, एग्रेसिव टेस्टिंग और लोगों तक सही और पूरी जानकारी। पीएम मोदी ने कहा कि अस्पताल में कितने बेड उपलब्ध हैं, कहां उपलब्ध हैं? ये जानकारी आसानी से उपलब्ध होने पर लोगों की सहूलियत बढ़ती है। इसी तरह कालाबाजारी पर लगाम हो, ऐसे लोगों पर सख्त कार्रवाई हो।

    अंत में पीएम मोदी ने कहा कि जिन लोगों को आज बात करने का मौका नहीं मिला, उनके पास भी बहुत कुछ होगा। मेरा आपसे आग्रह है कि आपको लगता है कि जो चीज आपने अच्छी की है उसे मुझे लिखकर जरूर भेजिए। इसका अन्य ज़िलों में कैसे उपयोग हो मैं इसकी जरूर चिंता करूंगा। आपकी मेहनत और इनोवेशन देश के काम आनी चाहिए।

    नीति के मामले आपको खुली छूट

    पीएम मोदी ने जिलाधिकारियों से कहा कि अगर आपको लगता है कि सरकार की ओर से बनाई गई पॉलिसी में जिला स्तर पर इनोवेशन की जरूरत है तो मैं आपको खुली छूट देता हूं कि आप इनोवेशन करिए। अगर आपको लगता है कि इन इनोवेशन से देश और राज्यों को भी फायदा होगा तो सरकार तक इन्हें पहुंचाइए।

    By आदित्य सिंह

    दिल्ली विश्वविद्यालय से इतिहास का छात्र। खासतौर पर इतिहास, साहित्य और राजनीति में रुचि।

    Leave a Reply

    Your email address will not be published. Required fields are marked *