पाकिस्तान की ताकतवर सेना ने इस वर्ष रक्षा बजट में कटौती को स्वीकृति दे दी है। दक्षिणी एशियाई देश भी बिगड़ती अर्थव्यवस्था के दौर से गुजर रहा है। पाकिस्तान का अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के साथ छह अरब डॉलर बेलआउट पैकेज के लिए बातचीत जारी है।
पाकिस्तान की सेना ने अपनी इच्छा से अगले वित्तीय वर्ष में अपना रक्षा बजट को कम करने का फैसला किया है। इंटर सर्विस पब्लिक रिलेशन के अध्यक्ष आसिफ गफूर ने मंगलवार को ट्वीट कर कहा कि “आगामी वित्त वर्ष के लिए रक्षा बजट में कटौती सुरक्षा की कीमत पर नहीं होगी।”
आसिफ गफूर ने बताया कि “एक वर्ष के लिए रक्षा बजट में कटौती सुरक्षा की कीमत पर नहीं होगी। हम सभी प्रकार के खतरों के जवाब में प्रभावशाली प्रतिक्रिया देते रहेंगे तीनो सेवायें सही कटौती के प्रभाव का प्रबंधन करेंगे कबायली इलाको और बलूचिस्तान में विकास में भागीदारी करना ज्यादा महत्वपूर्ण है।”
इस पहल की पाकिस्तानी प्रधानमंत्री इमरान खान ने प्रशंसा की है। बजट में कटौती की जानकारी सेना को नहीं दी जाएगी। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने मंगलवार को कहा कि “देश की वित्तीय स्थिति को ध्यान में रखते सेना द्वारा रक्षा बजट में कटौती का कदम अभूतपूर्व है, यह वाकई काबिल-ए-तारीफ है।”
इमरान खान ने कहा कि “वह सेना के इस कदम के शुक्रगुजार है। यह कदम देश के सामने मौजूद कई रक्षा चुनौतियों के बावजूद उठाया गया है।” देश के विज्ञान एवं प्रद्योगिकी मंत्री फवाद चौधरी ने कहा कि “यह कोई आम कदम नहीं है। उन्होंने कहा कि “सिर्फ एक सैन्य-असैन्य सहयोग से ही पाकिस्तान के शासन और अर्थव्यवस्था को व्यापक समस्याओं से बचा सकता है।”