नई दिल्ली, 23 मई (आईएएनएस)| प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अगुवाई में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) गुरुवार को एक बार फिर पांच वर्षो के लिए सत्ता में काबिज होने जा रही है। वहीं विपक्ष इस बार भी चारो खाने चित्त हो गया।
भारतीय जनता पार्टी ने विपक्ष के मजबूत गढ़ में भी उसे पूरी तरह से मात दी है। पार्टी पूर्वोत्तर भारत के सभी राज्यों में जीत दर्ज करने की ओर बढ़ रही है। यहां तक कि तृणमूल कांग्रेस शासित पश्चिम बंगाल में भी भाजपा ने जबरदस्त बढ़त हासिल की है।
मतगणना के बाद प्राप्त रुझानों में भाजपा 298 सीटों पर कब्जा करते दिख रही है। 2014 में भाजपा ने 282 सीट पर कब्जा किया था।
गठबंधन के अपने साथी को मिलाकर, राजग नीत राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन 542 लोकसभा सीट में से 343 पर कब्जा जमा सकती है।
प्रधानमंत्री मोदी जहां उत्तरप्रदेश के वाराणसी में जबरदस्त जीत की ओर बढ़ रहे हैं, वहीं भाजपा अध्यक्ष अमित शाह भी गुजरात की गांधीनगर सीट से अजेय बढ़त बनाए हुए हैं।
शाह ने भाजपा और उसके गठबंधन को समर्थन देने के लिए मतदाताओं को शुक्रिया अदा किया और कहा, “हमारी जीत देश की जीत है।”
भाजपा गुजरात की सभी 26, कांग्रेसनीत राजस्थान की सभी 25, हिमाचल प्रदेश की सभी चार और उत्तराखंड की सभी पांच सीटों पर कब्जा करने जा रही है।
भाजपा इसके अलावा मध्यप्रदेश की 29 में से 28 सीटों, छत्तीसगढ़ की 11 में से नौ सीटों, बिहार की 40 सीटों में गठबंधन के अपने साथी के साथ 38 सीटों पर, झारखंड की 14 में से 10 सीटों पर, हरियाणा की 10 में से नौ सीटों पर, कर्नाटक की 26 में से 23 सीटों पर, महाराष्ट में शिवसेना के साथ मिलकर 48 में से 41 सीटों पर, पश्चिम बंगाल की 42 में से 19 सीटों पर, ओडिशा की 21 में से छह सीटों पर और दिल्ली की सभी सात सीटों पर जीत दर्ज करने जा रही है।
उत्तरप्रदेश में भाजपा ने सपा-बसपा गठबंधन के बावजूद यहां की 80 में से 60 सीटों पर मजबूत बढ़त बनाई हुई है।
कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी उत्तरप्रदेश के अमेठी में कंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी से लगभग 10,000 वोटों से पीछे चल रहे हैं। हालांकि राहुल केरल के वायनाड में उन्होंने बड़ी जीत दर्ज की है।
संप्रग अध्यक्ष और कांग्रेस की वरिष्ठ नेता सोनिया गांधी रायबरेली में जीत की ओर अग्रसर है।
जैसे ही यह स्पष्ट हुआ कि मोदी दोबारा प्रधानमंत्री बनने वाले हैं, सेंसेक्स 40,000 के आंकड़े को पार कर गया।
11 अप्रैल को शुरू हुए और 19 मई को समाप्त हुए सात चरण के चुनावों में लगभग 90 करोड़ मतदाताओं में से करीब 67 प्रतिशत ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया।