दिसंबर 2017 के बाद एमएस धोनी के बल्ले से ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ शनिवार को खेले गए पहले वनडे मैच में अर्धशतक आया। जिसमें भारतीय टीम के पूर्व तेज गेंदबाज अजीत आगरकर का मानना है 50 ओवर का मैच खेलने के लिए पूर्व कप्तान का स्कोरिंग रेट अच्छा नही था। दिलचस्प बात यह थी कि जब धोनी रोहित शर्मा के साथ बल्लेबाजी करने के लिए मैदान में उतरे थे तब भारत का स्कोरबोर्ड 3 विकेट के नुकसान पर 4 रन था। लेकिन आगरकर का मानना है की 96 गेंद खेलकर आप 53.2 की औसत से रन बनाते है तो यह आदर्श परिदृश्य नहीं था।
“हां, मुश्किल परिस्थितिया होती है जब आपके 4 रन पर 3 विकेट गिर जाते है। और तब आप तर्क दे सकते है कि 25 से 30 गेंद आप खाली छोड़ते है। लेकिन जब आप एक बार सेट हो जाते है, मुझे नही लगता ऐसा होना चाहिए। मेरा मानना है कि रोहित अकेले 288 रन नही बना सकते। उनको दूसरे छोड़ से भी समर्थन की जरूरत थी। और ऐसे खिलाड़ी की जरूरत नही थी जो 50 के औसत से खेले, जो 100 गेंदो के खत्म होने के बाद 50 का स्ट्राइक रेट कर रहा हो। वनडे क्रिकेट में 100 गेंदे बहुत होती है।”
क्रिकइंफो से बात करते हुए आगरकर ने कहा, ” पहले कुछ समय के लिए बहस कर सकते है क्योकि दबाव आप पर होता है और आपको उस समय अपनी विकेट नही गंवानी होती है। लेकिन आखिरकार, आपको वह करने की आवश्यकता है जिसकी टीम को जररूत है। और अगर आप ऐसा नहीं कर रहे हैं, तो आपको यह चिंता करने की ज़रूरत है कि क्या व्यक्ति ऐसा करने के लिए पर्याप्त है या नहीं। हां, उन्होने अर्धशतक लगाया लेकिन यह अर्धशतक 100 गेंदो में आया। जिसने रोहित को दूसरे छोड़ से मदद नही दी।”
आगरकर ने कहा कि धोनी के प्रशंसक तर्क दे सकते हैं कि बल्लेबाज ने खराब फैसला लिया है, रोहित द्वारा अधिकतम स्कोर किया गया है।
उन्होंने कहा, “धोनी के प्रशंसक तर्क दे सकते हैं कि उन्हें एक मोटा मामला मिला अन्यथा वह आगे बढ़ सकते थे। लेकिन यह उस चरण में ऐसा नहीं दिखता था। ऐसा लग रहा था कि रोहित काम कर रहे है।”