उत्तर भारत की ठण्ड पूरे देश में मशहूर है। जहाँ दक्षिण भारतीय लोग खास तौर पर दिल्ली आते हैं यहाँ की सर्दी का मजा चखने, यहाँ के लोग भगवान से यही दुआ करते हैं कि अब ये तापमान और ना गिर जाए। मगर गुरुवार के दिन, कई उत्तरी भारतीय इलाकों में तापमान में गिरावट देखी गयी। ‘सफ़र’ के मुताबिक, दिल्ली में सुबह सुबह भयानक ठण्ड के साथ साथ इसकी वायु गुणवत्ता का स्तर ‘बहुत खराब’ केटेगरी में दर्ज़ किया गया। कोहरे के कारण, जगह जगह जाम लगने जैसी समस्याएं भी पता चली।
राजधानी का न्यूनतम तापमान लगभग 3.7 डिग्री सेल्सियस दर्ज़ किया गया। भारत मौसम विभाग के एक अधिकारी के अनुसार, अधिकतम तापमान 21 के आसपास बढ़ने की उम्मीद है और सुबह 8.30 बजे तक नमी 97% देखी जा सकती थी। उनके मुताबिक, “जहाँ शहर के कई हिस्सों में, उथला से मध्यम कोहरा था वही कुछ जगहों पर भारी कोहरे होने की वजह से दूर दूर तक कुछ नहीं दिखाई दे रहा था। कई जगहों पर, साफ़ आसमान के साथ शीत लहर जैसी स्थिति देखी जा सकती है।”
और बुधवार वाले दिन तो इस सीजन का सबसे कम तापमान दर्ज़ किया गया था। जहाँ इसका अधिकतम तापमान 21.3 डिग्री सेल्सियस था वही इसका न्यूनतम तापमान 3.6 डिग्री सेल्सियस तक पहुँच गया। न्यूज़ एजेंसी एएनआई ने बताया कि दिल्ली जाने वाली 15 ट्रेन कोहरे के वजह से देरी से पहुँची हैं।
दिल्ली के अलावा बाकी जगह जैसे हिमाचल प्रदेश में भी ठण्ड का कहर है। मनाली और कलपा सहित कई शहरों में बुधवार की रात को भारी बर्फ़बारी देखी गयी। मौसम विभाग का ये भी कहना है कि पर्यटक स्थल जैसे शिमला, मनाली, डलहौजी, कुफरी और नारकंडा में नए साल के आसपास बर्फबारी हो सकती है।
Manali in Himachal Pradesh receives fresh snowfall. pic.twitter.com/bfFtR3dPsk
— ANI (@ANI) December 27, 2018
ऐसी हालत उत्तराखंड के बद्रीनाथ, औली और चोपता में भी देखी गयी। गुरुवार वाले दिन, ये तीनो जगह बर्फ से ढकी हुई नज़र आ रही थी। राज्य के छह से ज्यादा कस्बों में, तापमान शून्य से भी नीचे गिर गया था। जहाँ अल्मोरा में न्यूनतम तापमान माइनस 3.5 डिग्री सेल्सियस था वही मुक्तेश्वर और पिथोरागढ़ में तापमान गिर कर माइनस एक डिग्री सेल्सियस तक पहुँच गया।
#Uttarakhand: Badrinath, Auli and Chopta receives fresh snowfall pic.twitter.com/rv5dOL9KNX
— ANI (@ANI) December 27, 2018
रिपोर्ट में कहा गया है कि उत्तरकाशी में यमुना घाटी और पिथौरागढ़ के कुछ हिस्सों जैसे पहाड़ी क्षेत्रों में प्राकृतिक जलस्रोत जम गए हैं। केदारनाथ राजमार्ग पर रुद्रप्रयाग में स्थित बांसवाड़ा के पास एक क्षेत्र से भूस्खलन की भी सूचना मिली है। राज्य की राजधानी देहरादून भी तीन साल के न्यूनतम तापमान 4.2 डिग्री सेल्सियस दर्ज करने के साथ शीत लहर की चपेट में है। खराब मौसम के चलते, रोड और रेल ट्रैफिक पर भी असर पड़ा है। जहाँ कई ट्रेन देरी से पहुँच रही हैं तो कई ट्रेन कैंसिल ही हो गयी।
मौसम विभाग का कहना है कि आने वाले तीन दिन और भी बेकार होने वाले हैं और तापमान के लगातार गिरने की संभावना है। हरिद्वार, ऋषिकेश और उधमसिंह नगर में हालात बिगड़ सकते हैं।
जम्मू और कश्मीर में, 28 सालों बाद ऐसी सर्दी देखी गयी। श्रीनगर में लोग माइनस 7.6 डिग्री सेल्सियस से ठिठुर रहे थे। सुबह तक, श्रीनगर और उसके आसपास के इलाकों में, पानी के नल, झीलें, तालाब और अन्य जलस्त्रोत जमे गए थे।
https://twitter.com/rajeshrajput25/status/1078145943810252800
मौसम विभाग की जानकारी के अनुसार, राज्य में सबसे ज्यादा ठण्ड का कहर द्रास नाम के कसबे में देखा गया। यहाँ तापमान माइनस 20.6 डिग्री सेल्सियस दर्ज़ किया गया। पहलगाम में माइनस 8.3 डिग्री सेल्सियस, गुलमर्ग में माइनस 9 डिग्री सेल्सियस, लेह में माइनस 8.4 डिग्री सेल्सियस और कारगिल में माइनस 16.2 डिग्री सेल्सियस का न्यूनतम तापमान देखा गया। रात के सबसे कम तापमान के रूप में जम्मू में 4.3 डिग्री, कटरा में 3.7 डिग्री, बनिहाल में माइनस 3.5 डिग्री और भद्रवाह माइनस 2.5 डिग्री दर्ज़ किया गया।