नई दिल्ली, 3 जुलाई (आईएएनएस)| दिल्ली उच्च न्यायालय में बुधवार को एक याचिका दायर की गई, जिसमें पुरानी दिल्ली में सांप्रदायिक संघर्ष के दौरान एक हिंदू मंदिर पर हमले की अदालत की निगरानी में जांच की मांग की गई है।
यह याचिका वकील अलख आलोक श्रीवास्तव द्वारा दायर की गई है। इसमें अदालत से हौज काजी क्षेत्र में लाल कुआं के एक पुराने दुर्गा मंदिर पर हमले के पीछे की ‘साजिश’ की जांच करने के लिए विशेष जांच दल (एसआईटी) के गठन व इस जांच की निगरानी अदालत द्वारा किए जाने की मांग की गई है।
वकील ने पुलिस अधिकारियों के खिलाफ विभागीय कार्रवाई की भी मांग की है, जो इस घटना को रोकने में विफल रहे।
याचिका में कहा गया है, “हिंदू मंदिर पर लगभग 200 लोगों की भीड़ द्वारा किया गया बर्बर हमला स्पष्ट रूप से दिखाता है कि हमलावरों को पुलिस और कानून प्रवर्तन एजेंसियों का कोई डर नहीं था और इस प्रकार संबंधित विभागीय अधिकारियों के खिलाफ उपयुक्त विभागीय कार्रवाई की आवश्यकता है।”
श्रीवास्तव ने यह भी आरोप लगाया कि इस घटना के पीछे ‘गहरी साजिश’ लग रही और उन्होंने कहा कि भविष्य में इस तरह के हमलों को रोकने के लिए उचित दिशानिर्देश तैयार किए जाने चाहिए।
हौज काजी में वाहनों की पार्किं ग को लेकर रविवार को देर रात तक हंगामा हुआ और जल्दी ही सांप्रदायिक तनाव में बदल गया। इसकी वजह से अधिकारियों को पुलिस व अर्धसैनिक बलों की एक बड़ी टुकड़ी को तैनात करने को बाध्य होना पड़ा।
इलाके से लोकसभा सांसद व केंद्रीय मंत्री हर्षवर्धन ने भी मंदिर पर हमले की निंदा की है।