सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली में आरओ के इस्तेमाल पर नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (एनजीटी) द्वारा लगाए गए प्रतिबंध पर दखल देने से मना कर दिया है। इसके साथ ही कोर्ट ने आरओ निर्माता एसोसिएशन को अपनी बात रखने के लिए केंद्र के पास जाने के लिए कहा। न्यायमूर्ति रोहिटन नरीमन की अध्यक्षता वाली पीठ ने एनजीटी के आदेश पर रोक लगाने से मना कर दिया।
आरओ निर्माता एसोसिएशन के अधिवक्ता का कहना था कि आरओ का इस्तेमाल कई चिकित्सा उद्देश्यों के मद्देनजर किया जाता है, खास कर डायलिसिस में, लेकिन एनजीटी ने आरओ के इस्तेमाल पर पूर्ण प्रतिबंध लगा दिया है।
अधिवक्ता ने अपने तथ्यों को पेश करते हुए कहा, “आरओ पानी से बड़े पैमाने पर अशुद्धियों को निकालता है। यह पानी को साफ रखने में उपयोगी है।”
वहीं कोर्ट ने केंद्र को किसी भी अधिसूचना को जारी करने से पहले एसोसिएशन के तर्को पर विचार करने का निर्देश दिया है। एसोसिएशन अपनी तर्को को 10 दिनों के अंदर सरकार के समक्ष पेश करेगा।