अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने गुरूवार को कहा कि “उन्हें अपने चीनी समकक्षी शी जिनपिंग से एक खूबसूरत चिट्ठी मिली है। मैं उनसे बातचीत करूँगा।” विश्व की दो ताकतवर अर्थव्यवस्थाओं के बीच व्यापार द्वन्द छिड़ा हुआ है और कोई भी इसमें पीछे हटने के लिए तैयार नहीं है।
डोनाल्ड ट्रम्प ने कहा कि “हम समझौते के काफी करीब पंहुच गए थे और उन्होंने समझौते पर दोबारा बातचीत शुरू कर दी थी। वापस आने का विचार उनका था। उन्होंने मुझे एक खूबसूरत पत्र लिखा है। मुझे अभी ही वह पत्र मिला है। मैं उनसे फ़ोन पर बातचीत करूँगा।”
चीन और अमेरिका के अधिकारी व्यापार युद्ध के 11 वें चरण में शामिल होंगे और इसमें आर्थिक और कारोबारी मसलो पर चर्चा की जाएगी। बातचीत के दौरान ही डोनाल्ड ट्रम्प ने चीनी उत्पादों पर शुल्क को बढ़ाने की धमकी दी थी। हालाँकि नए व्यापार समझौते को अंतिम रूप देने की प्रक्रिया में बाधा को देखते हुए उन्होंने अपने भायां से यूटर्न ले लिया था।
डोनाल्ड ट्रम्प ने बुधवार को कहा कि “चीन समझौते को तोड़ने की कोशिश में जुटा हुआ है और उन पर नए अतिरिक्त शुल्क थोपे जा सकते हैं। रैली के दौरान राष्ट्रपति ने कहा कि “आप देख सकते हैं हम शुल्क लगाने जा रहे हैं क्योंकि उन्होंने समझौते को खत्म कर दिया है। चीनी उप प्रधानमंत्री कल वापस आ रहे हैं, अच्छे व्यक्ति हैं लेकिन उन्होंने समझौते को खत्म कर दिया। वे ऐसा नहीं कर सकते थे अगर हम समझौते को नहीं बनाते। प्रतिवर्ष 100 अरब डॉलर लेने में कुछ गलत नहीं है। हमने इससे पूर्व कुछ भी ऐसा नहीं किया था।”
इसकी प्रतिक्रिया में चीन ने कहा कि अगर अमेरिका चीनी उत्पादों में शुल्क की वृद्धि करेगा तो हम हर जरुरी कदम उठाने से नहीं हिचकेंगे। वाणिज्य मंत्रालय ने कहा कि “अगर अमेरिका के कदम को अमल में लाया गया तो चीन को गहरा अफ़सोस होगा। इसके प्रतिकार में चीन को संभावित कदम उठाने ही होंगे।
ट्रम्प प्रशासन ने 250 अरब डॉलर के चीनी उत्पादों पर आयात शुल्क में भी इजाफा किया था। इसके प्रतिकार में चीन ने 110 अरब डॉलर के अमेरिकी उत्पादों पर शुल्क बढ़ा दिया था।