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    विश्व चैंपियनशिप में रजत पदक जीतने वाले अनुभवी भारतीय मुक्केबाज अमित पंघल को उम्मीद है कि अगले साल होने वाले टोक्यो ओलंपिक में भारत की झोली में कम से कम दो स्वर्ण पदक आएंगे।

    भारत ने ओलंपिक खेलों के सभी संस्करणों में अब तक केवल दो ही कांस्य पदक जीते हैं। इनमें विजेंदर सिंह ने 2008 बीजिंग ओलंपिक में और मैरी कॉम ने 2012 के लंदन ओलंपिक में अपने-अपने भार वर्ग में कांस्य पदक जीता था।

    पंघल ने आईएएनएस से कहा, “हाल के समय में मुक्केबाजी में हमारे प्रदर्शन में सुधार हुआ है। हमने कई स्वर्ण पदक जीते हैं, चाहे राष्ट्रमंडल खेल हो, एशियाई खेल हो या फिर विश्व चैंपियनशिप हो।”

    उन्होंने कहा, “हम कम से कम दो स्वर्ण पदक की उम्मीद के साथ टोक्यो ओलंपिक जाएंगे। हम और ज्यादा पदक जीत सकते हैं। लेकिन टोक्यो ओलंपिक में भारतीय मुक्केबाजों से कम से कम दो स्वर्ण पदक की उम्मीद किया जा सकता है।”

    24 वर्षीय भारतीय मुक्केबाज ने टोक्यो ओलंपिक के लिए अपनी तैयारियों को लेकर कहा कि इस समय उनका मुख्य लक्ष्य एशियन ओलंपिक क्वालीफायर पर लगा हुआ है, जिसका आयोजन अगले साल फरवरी में चीन के वुहान शहर में होना है।

    यह टूर्नामेंट ओलंपिक क्वालीफायर टूर्नामेंट है और पंघल का लक्ष्य इसमें ओलंपिक कोटा हासिल करना है।

    पंघल ने कहा, “टोक्यो ओलंपिक के लिए मैं पूरी तरह से तैयार हूं। सबसे पहले, फरवरी में हमारे सामने ओलंपिक क्वालीफायर्स है और मेरा लक्ष्य उसमें अपना सर्वश्रेष्ठ देना है और ओलंपिक के लिए क्वालीफाई करना है।”

    उन्होंने कहा, “अन्य खिलाड़ियों की तरह मेरा भी लक्ष्य है कि मैं ओलंपिक में भारत का प्रतिनिधित्व करूं और पदक जीतूं।”

    पंघल इस समय बिग बाउट इंडियन बाक्सिंग लीग में गुजरात जाएंट्स का हिस्सा हैं। गुजरात जाएंट्स को लीग के पहले सेमीफाइनल में गुरुवार को यहां के इंदिरा गांधी इंडोर स्टेडियम कॉम्पलेक्स के केडी जाधव हाल में बॉम्बे बुलेट्स के खिलाफ रिंग में उतरना है।

    उन्होंने कहा, “यह लीग सभी मुक्केबाजों को मदद करेगी। प्रत्येक बॉक्स दूसरे बॉक्स से भिड़ेंगे और इससे उन्हें काफी अनुभव मिलेगा, खासकर युवाओं को। लीग के माध्यम से उन्हें अपने सीनियरों से काफी कुछ सीखने को मिलेगा।”

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