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    रिलायंस जिओ

    केंद्र द्वारा हाल ही में लिए गए फैसले के अनुरूप सरकार ने तमाम टेलीकॉम उपकरण पर आयात शुल्क को बढ़ा दिया है। सरकार के इस कदम से जियो के किसी भी तरह से प्रभावित होने के संकेत नहीं है। जबकि देश के अन्य सभी टेलीकॉम ऑपरेटर इस बढ़ोतरी की चपेट में आ गए हैं।

    जियो के अप्रभावित रहने का कारण है कि जियो अपने टेलीकॉम संबन्धित उपकरण सैमसंग से खरीदता है। सैमसंग एक दक्षिण कोरियाई कंपनी है, मालूम हो कि भारत और दक्षिण कोरिया के बीच एक अनुबंध है जिसके तहत भारत में दक्षित कोरिया से ड्यूटि फ्री वस्तुएं मँगवाई जा सकती हैं।

    वहीं दूसरी ओर एयरटेल, वोडाफोन और आइडिया यूरोप की एरिक्सन कंपनी से अपने उपकरण मँगवाती है, जिसके चलते उन्हे इसपर तमाम तहत के कर देने पड़ते हैं। कुछ कंपनियां चीन से भी इस तरह के उत्पादों को आयात करती हैं।

    सैमसंग दक्षिण कोरियाई कंपनी है इसी वजह से रिलायंस जियो को सैमसंग से मिलने वाले टेलीकॉम संबन्धित अपने उपकरणों पर किसी भी तरह कोई कर नहीं देना पड़ता है।

    वहीं दूसरी ओर एयरटेल, वोडाफोन-आइडिया को अब अपने उपकरणों की खरीद के एवज में अधिक कर चुकाना पड़ेगा, जिसका सीधा असर उनके टैरिफ पर देखने को मिल सकता है।

    इस मामले में सरकार की ओर से बोलते हुए एक अधिकारी ने कहा है कि सरकार की नीतियों के अनुसार कुछ सामानों पर सीमा कर माफ है, लेकिन यह सुविधा सिर्फ अनुबंधित देशों के साथ ही उपलब्ध है।

    मालूम हो कि सरकार ने पिछले गुरुवार को ही इन उपकरणों पर लगने वाले सीमा शुल्क को सीधा बढ़ाकर दोगुना कर दिया था।

    देश में इस तरह के उपकरण सैमसंग, हुआवे, नोकिया, एरिक्सन व ZTE आदि कंपनियां निर्यात करती हैं।

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