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    नजीब अहमद

    दिल्ली के जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) के लापता छात्र नजीब अहमद (27) के परिजनों व अन्य छात्रों ने सीबीआई मुख्यालय के बाहर जमकर विरोध-प्रदर्शन किया। 14 अक्टूबर 2016 की रात से लापता होने के बाद नजीब अहमद को आज तक पुलिस ढूंढ नही पाई है। नजीब मामले की हाईकोर्ट में सुनवाई से एक दिन पहले उसकी मां व अन्य लोगों ने सीबीआई मुख्यालय के बाहर विरोध किया।

    नजीब की मां ने सीबीआई के ऊपर आरोप लगाते हुए कहा कि सीबीआई एजेंसी ने जांच तो शुरू कर दी है लेकिन अभी तक कोई प्रगति नहीं की है। गौरतलब है कि नजीब मामले की जांच सीबीआई कर रही है लेकिन अभी तक उसका कोई सुराग नहीं लगा है।

    नजीब के परिवार व जेएनयू, जामिया मिलिया इस्लामिया, दिल्ली विश्वविद्यालय और अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय जैसे विभिन्न विश्वविद्यालयों के छात्रों ने कहा कि जब तक सीबीआई अधिकारी आकर उनसे नहीं मिलेंगे तब तक वो अपना प्रदर्शन जारी रखेंगे। बाद में पुलिस के साथ झड़प के दौरान कई प्रदर्शनकारी भी कथित रूप से घायल हो चुके है।

    प्रदर्शनकारियों को संबोधित करते हुए, नजीब की मां फातिमा नफीस ने कहा कि इस घटना के बाद से जांच एक इंच भी आगे नहीं बढ़ी है। फातिमा ने कहा कि आईएसआईएस में शामिल होने वाली नजीब की फर्जी कहानियां बिना किसी सबूत के प्रसारित की जा रही है जिस वजह से उसे बदनाम किया जा रहा है।

    नजीब की मां ने कहा कि उसे जेएनयू में बुरी तरह मारा गया था उस समय पुलिस ने इस मामले को अधिक गंभीरता से नहीं लिया। हमारी मांग है कि सीबीआई सबसे पहले नजीब पर हमला करने वाले 9 एबीवीपी छात्रों से सवाल करे।

    प्रदर्शनकारियों ने सीबीआई पर आरोप लगाया कि वो जान-बूझकर सिर्फ समय गुजारना चाहती है ताकि मामले की गंभीरता कम हो जाए। गौरतलब है कि 16 मई, 2017 को हाईकोर्ट ने सीबीआई को दिल्ली पुलिस से जांच का अधिकार देने का निर्देश दिया था।

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