बलूचिस्तान से राजनीतिक कार्यकर्ताओ ने वहां राजनीतिक कार्यकर्ताओं की हत्या और अपहरण के खिलाफ प्रदर्शन किया है। पाकिस्तानी विभागों द्वारा अत्याचारों को रेखांकित करना और इस मामले पर अंतररष्ट्रीय समर्थन पाना मकसद है। बलोच कार्यकर्ता जिनेवा में एकत्र हुए थे और यूएन के दफ्तर के बाहर प्रदर्शन और समारोह का आयोजन किया था।
बलूच कार्यकर्ता युनुस बलोच ने कहा कि “हम जिनेवा में पाकिस्तानी सेना और ख़ुफ़िया विभाग द्वारा बलूचिस्तान की जनता की हत्या और अपहरण की तरफ ध्यान खींचना चाहते हैं।” मंगलवार को बलोच मानव अधिकार परिषद् ने यूएन मुख्यालय के सामने बलूचिस्तान में मानवीय संकट का कार्यक्रम आयोजित किया था।
इस प्रदर्शन का आयोजन वर्ल्ड सिन्धी कांग्रेस ने किया था जब पाकिस्तानी विदेश मन्त्री शाह महमूद कुरैशी यूएन सुरक्षा परिषद् में भाषण दे रहे थे। बलूचिस्तान के मानव अधिकार कार्यकर्ताओं की हत्या और अपहरण के लिए पाकिस्तानी सरकार की काफी आलोचनाये हुई है।
कमीशन ऑफ़ इन्क्वारी ऑन इंफोर्स्ड दिसप्पेरेंस के मुताबिक, साल 2014 से अपहरण के 5000 मामले सामने आये हैं। इसमें से अधिकतर मामले लंबित है। स्वतंत्र स्थानीय और अंतररष्ट्रीय मानव अधिकार संघठनो ने आंकड़ो को ज्यादा बताया है।
बलूचिस्तान से करीब 20000 लोगो के अपहरण की रिपोर्ट दर्ज हुई है, जिसमे से 2500 लोगो की मृत्यु गोली लगने से हुई है, जो प्रताड़ना का संकेत हैं। प्रधानमन्त्री के पद पर चयनित होने से पूर्व इमरान खान ने कबूल किया कि लापता और हत्याओ के मामले में पाकिस्तान के ख़ुफ़िया विभाग शामिल है और इसमें नाकाम होने पर इस्तीफा देने का संकल्प लिया था।