भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के स्वच्छ भारत अभियान के चर्चे अंतर्राष्ट्रीय समुदाय की जबान पर हैं। पेयजल एवं स्वच्छता मंत्रालय ने कहा कि जापान के प्रधानमंत्री शिंज़ो अबे ने भारत सरकार को उनकी सरकार के समर्थन का प्रस्ताव दिया है।
मंत्रालय के मुताबिक प्रधानमंत्री शिंजो अबे ने अपने सन्देश में लिखा कि जापान स्वच्छ भारत अभियान के प्रचार में सहयोग करना चाहता है। यह अभियान पीएम मोदी के नेतृत्व में किया जा रहा है।
उन्होंने सन्देश में एशिया में स्वच्छ समाज के लिए प्रतिबद्धता को दर्शाया और भारत को महात्मा गाँधी इंटरनेशनल सैनिटेशन कन्वेंशन की सफलता के लिए बधाई दी।
अपने सन्देश में शिंजो अबे ने कहा कि समस्त विश्व के समक्ष स्वच्छ पेयजल का संरक्षण और स्वच्छता स्तर को बेहतर करना महत्वपूर्ण चुनौतियाँ हैं।
एमजीआईएससी चार दिवसीय अंतर्राष्ट्रीय सम्मेलन था जहां विश्व के नेताओं और मंत्रियों ने शिरकत की थी। इस आयोजन में डब्लूएएसएच (वाश, सैनिटेशन एंड हाइजीन) के विषय में वार्ता हुई थी।
इस सम्मेलन का उद्घाटन राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने किया था और इसे सम्बोधित उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू ने किया था। इस सम्मेलन को अंत में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और संयुक्त राष्ट्र के प्रमुख एंतानियो गुटरेस ने सम्बोधित किया था।
स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत नरेंद्र मोदी की सरकार ने राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के जन्मदिवस 2 अक्टूबर 2014 को की गई थी। यह एक राष्ट्रव्यापी अभियान है। इस अभियान का एजेंडा भारत में खुले में शौच की समस्या को समाप्त करना है।
सरकार का लक्ष्य 2 अक्टूबर 2019 तक ग्रामीण भारत में 1.96 करोड़ शौचालयों का निर्माण करना है। इस स्वच्छता अभियान का कई क्षेत्रों की दिग्गज हस्तियों को ब्रांड एम्बेसडर बनाया गया। साल 2016 में जारी आंकड़ों में मध्यप्रदेश के इंदौर शहर सबसे साफ़ और झारखण्ड के धनबाद की स्थिति सबसे बुरी थी।