अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प को उम्मीद है कि जापान की सेना समूचे एशिया और इससे परे भी अमेरिकी सेना को सुदृढ़ करेगी। मंगलवार को उन्होंने कहा कि “अमेरिका के महत्वपूर्व सहयोगी ने सेना की क्षमता को अपग्रेड किया है।” ट्रम्प का बयान जापान के सबसे बड़े युद्धपोत कागा और पनडुब्बी को तबाह करने वाले एक हेलीकाप्टर का मुआयना करने के बाद आया है।
इस जलयान को जल्द ही एफ-35 बी में अपग्रेड कर दिया जायेगा और इसने बीते वर्ष भारत में फ्लैग-फ्लाइंग मिशन के लिए नौचालन किया था। विवादपसाद दक्षिणी चीनी सागर पर चीन अपना दावा ठोकता है कौर यहां जापान भी अपना अधिकार मानता है।
डोनाल्ड ट्रम्प ने बयान में कहा कि “यह असाधारण नया उपकरण कागा क्षेत्र या उस परे के खतरों से हमारे राष्ट्रों की रक्षा करने में मददगारी होगा।” एक अन्य जहाज इजुमो जापान में तैनात अमेरिकी सेना के युद्धपोत एफ-35बीएस में ईंधन भरने में मदद मुहैया करेगा।
जापान में सबसे बड़े एयरक्राफ्ट कागा और इजुमो संचालन कर रहे है, लेकिन उसकी रक्षात्मक सेना उसे विध्वंशक करार देती है। जिस हथियार को अन्य देश पर हमले के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है उस पर संवैधानिक प्रतिबन्ध है। डोनाल्ड ट्रम्प चार दिवसीय जापानी यात्रा पर है और दोनों देशों के बीच व्यापार मतभेद बरक़रार हैं।
सोमवार दो आयोजित प्रेस कांफ्रेंस में वांशिगटन ने जापान की रक्षा क्षमता में वृद्धि के प्रयासों का समर्थन किया था और जापान को अमेरिकी सैन्य उपकरण खरीदने के लिए तंज कसा था। जापान ने बीते वर्ष 45 अधिक एफ-35 स्टेवलथ लड़ाकू विमान खरीदने की योजना का खुलासा किया था और इसकी अनुमति लागत चार अरब डॉलर है। जापान ने बताया कि उन्होंने 42 विमानों का पहले से ही आर्डर दे दिया है।
जापान ने कहा कि वह 150 आधुनिक लड़ाकू विमानों की सेना तैयार करना चाहते हैं और चीन की आधुनिक सैन्य तकनीक को पछाड़ना चाहते हैं। डोनाल्ड ट्रम्प ने कहा कि इस खरीद के साथ ही जापान हमारे सहयोगियों में सबसे अधिक एफ-35 लड़ाकू विमान रखने वाला बन जायेगा।”