रूस ने गुरूवार को तेहरान के साथ तनाव बढ़ने का आरोप वांशिगटन पर लगाया है। ब्रिटेन ने कहा कि “ईरानी जहाजों ने खाड़ी जल पर ब्रितानी तेल टैंकर पर कब्ज़ा करने की कोशिश की थी। रूस के उप विदेश मंत्री ने सेर्गेई रयाब्कोव ने कहा कि “यह हालात बेहद चिंतित करने वाले है।”
उन्होंने कहा कि “इसके लिए कारण बिल्कुल स्पष्ट है। यह तनावों को बढाने के लिए अमेरिका का जानबूझकर किया है।” क्रेमलिन के प्रवक्ता दमित्री पेस्कोव ने पत्रकारों से कहा कि “वह इस वारदात के होने से वाकिफ है लेकिन तेहरान ने इसे ख़ारिज किया है।”
उन्होंने कहा कि “पहले की तरह पर्शियन खाड़ी में सभी को संयमता से रहना चाहिए, हालतों को माजिद बिगाड़ने का आदेश नहीं देना चाहिए। बातचीत की मांग की है।”
ब्रिटेन ने कहा कि “बुधवार को संघर्ष में तीन इरानी नावो ने ब्रिटिश हेरिटेज के व्यवसायिक जहाज पर नियंत्रण करने की कोशिश की थी। इसका मालिक ब्रिटिश उर्जा दिग्गज बीपी है।” ब्रितानी युद्धपोत तीन नावो के इर्द-गिर्द घूम रहा था और नावो को चेतावनी दी गयी थी।
4 जुलाई को गिब्राल्टर के बंदरगाह से ब्रिटेन के जहाज को बंदी बनाने की कोशिश की थी। ब्रिटेन ने ईरान के तेल टैंकर को सीरिया जाने वाले मार्ग पर जब्त कर लिया था। रयाब्कोव ने गुरूवार को ब्रिटेन की कार्रवाई को अपमानजनक करार दिया था कि वे उल्लंघन नहीं कर रहे है लेकिन यह यूरोपीय संघ के आंतरिक विधेयक का उल्लंघन है।
ब्रिटेन का टैंकर हेरिटेज होर्मुज़ के जलमार्ग से गुजर रहा था। पर्शियन गल्फ को पार करने के दौरान पांच ईरान की नावो ने टैंकर को घेर लिया था। ईरानी नावो ने जहाज को कोर्स बदलने और ईरानी अंतरराष्ट्रीय जलमार्ग के नजदीक आने से रोकने का आदेश दिया था।
बुधवार के शुरुआत में ईरान के राष्ट्रपति हसन रूहानी ने धमकी दी थी कि ईरान के सीरिया के लिए भेजे गए टैंकर को जब्त करने का परिणाम ब्रिटेन भुगतेगा।