विषय-सूचि
क्लाउड कम्प्यूटिंग की परिभाषा (cloud computing meaning in hindi)
क्लाउड कंप्यूटिंग एक तरह का सूचना भेजने वाला सिस्टम है जो की कॉन्फ़िगर करने योग्य सिस्टम साधनों और उच्च स्तरीय सेवाओं के लिए सब तरह की चीजों को सक्षम बनाता है।
क्लाउड कंप्यूटिंग सार्वजनिक उपयोगिता के समान है जो की पारदर्शिता और अर्थव्यवस्थाओं को प्राप्त करने के लिए साधनों को सही तरह से चलाने पर काम करती है।
क्लाउड कंप्यूटिंग क्या है? (what is cloud computing in hindi)
क्लाउड कंप्यूटिंग एक ऐसा ऑनलाइन स्टोरेज सिस्टम है जो आपके डाटा, सॉफ्टवेयर और प्रोग्राम को ऑनलाइन स्टोर रखता है। इसमें आपको किसी इंटरनल या एक्सटर्नल ड्राइव की जरुरत नहीं होती।
आपकी फाइल को यह सर्वर में ही सेव कर लेता है। मान लीजिये आप को एक जगह से दूसरी जगह आना जाना पड़ता है ऐसे में आप अपना डाटा अपने पास कैसे रखेंगे? इसी समस्या का समाधान है क्लाउड कंप्यूटिंग। आप क्लाउड कंप्यूटिंग में इंटरनेट की सहायता से अपना डाटा कभी भी कहीं भी किसी भी डिवाइस से एक्सेस कर सकते हैं।
आसान भाषा में समझने का प्रयास करें तो, क्लाउड कंप्यूटिंग का उपयोग करना यानी आपकी फ़ाइलों को ऐसी जगह स्टोर करना जो आपकी लोकल होर्ड ड्राइव नहीं हैं। इसमें आप का डाटा सर्वर में स्टोर होता है और आप को ये सर्वर कभी भी आपका डाटा उपलब्ध करा सकता है।
क्लाउड कंप्यूटिंग काम कैसे करता है? (cloud computing architecture in hindi)
क्लाउड कंप्यूटिंग दो लेयर द्वारा काम करता है। इसकी पहली लेयर फ्रंट एन्ड लेयर और दूसरी बैक एन्ड लेयर होती है। दरअसल ये इन्ही दो लेयर से अपना काम कर पाता है।
फ्रंट एन्ड लेयर वो होती है जिसे आप देख सकते है और इसके साथ इंटरेक्ट कर सकते हैं और बैक एंड लेयर वो लेयर होती है जिसे न तो आप देख सकते हैं न ही इंटरेक्ट कर सकते हैं। दरअसल , इसमें हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर का आर्किटेक्टचर होता है, जो फ्रंट एन्ड लेयर को आपको दिखाने में सहायता करता है।
आप इसे एक उदहारण से समझिए, आप जीमेल का उपयोग तो जरूर करते होंगे, इसमें न जाने आपका कितना ही डाटा स्टोर होगा। आपने कभी सोचा है ये डाटा कहाँ रहता है? असल जीमेल, फेसबुक ,यूट्यूब आदि सब आपका डाटा क्लॉउडस्टोरेगे में सेव रखते हैं। जब कभी आप अपना लॉगिन आईडी और पासवर्ड डाल देते है आपको अपने क्लाउड स्टोर में एक्सेस मिल जाता है।
आपको जीमेल में 15 जीबी फ्री क्लाउड स्टोरेज दीया जाता है जिसे अाप अपने लॉगिन आईडी डाल कर किसी भी डिवाइस से एक्सेस कर सकते हैं।
क्लाउड कम्प्यूटिंग के उपयोग (uses of cloud computing in hindi)
आप काफी चीजों मे क्लाउड कंप्यूटिंग का उपयोग कर सकते हैं और करते हैं, भले ही आपको इसका एहसास नहीं हो।
यदि आप ईमेल भेजने, डॉक्युमेंट्स को संपादित करने, फिल्में या टीवी देखने, संगीत सुनने, गेम खेलने और अन्य फ़ाइलों को स्टोर करने के लिए ऑनलाइन सेवा का उपयोग करते हैं, तो हम कह सकते हैं कि क्लाउड कंप्यूटिंग की वजह से ही यह सब संभव हो पाया है।
पहली क्लाउड कंप्यूटिंग सेवाएं मुश्किल से एक दशक पुरानी हैं, लेकिन पहले से ही अलग अलग प्रकार के संगठन छोटे छोटे स्टार्टअप से वैश्विक निगमों तक, सरकारी एजेंसियां बिना किसी फायदे के लिए सभी कारणों से इस तरह की तकनीकी को अपनाया जा रहा है।
क्लाउड के साथ आप कुछ चीजें कर सकते हैं:·
- नए ऐप्स और सेवाएं बनाना
- डाटा को स्टोर करना, बैक अप में डाटा को रखना, और डेटा को पुनर्प्राप्त करना।
- वेबसाइट और ब्लॉग होस्ट करना।
- ऑडियो और वीडियो स्ट्रीम करना।
- पैटर्न को देखकर डाटा का विश्लेषण करना और भविष्यवाणियां करना।
क्लाउड कंप्यूटिंग के प्रकार (types of cloud computing in hindi)
क्लाउड कंप्यूटिंग मुख्या रूप से चार प्रकार की होती है।
- प्राइवेट क्लाउड कंप्यूटिंग (Private Cloud Computing) – जैसा की आप इसके नाम से ही जान सकते हैं ये प्राइवेट है इतनी निजी , इसे आप के अलावा कोई इस्तेमाल नहीं कर सकता। आप इसे अपनी लॉगिन आईडी और पासवर्ड दाल कर खुद एक्सेस कर सकते हैं। इसका उदाहरण है गूगल ड्राइव जहां आपके सारी काम की चीज़े आपके ईमेल आईडी और पासवर्ड से सुरक्षित रहते हैं। इसे आप के अलावा कोई दुसरा इस्तेमाल नहीं कर सकता।
- पब्लिक क्लाउड कंप्यूटिंग (Public Cloud Computing) – जैसा की इसके नाम से स्पष्ट होता है की यह पब्लिक डोमेन में है। इसका मतलब कोई भी इसे अपने उपयोग के लिए इस्तेमाल कर सकता है। पब्लिक क्लाउड हर सामान्य व्यक्ति के लिये उपलब्ध रहता है, उदाहरण के लिये अगर किसी साइट पर आप कोई गाना डाउनलोड कर पाते हैं तो वो हर सामान्य व्यक्ति भी डाउनलोड कर पता है। इसका मतलब उस पर सब का एक्सेस होता है। पब्लिक क्लाउड कंप्यूटिंग में आप बिना कोई लॉगिन करे इस स्टोरेज का उपयोग कर सकते हैं।
- कम्युनिटी क्लाउड कंप्यूटिंग (Community Cloud Computing) – इस तरह की क्लाउड कंप्यूटिंग किसी एक ग्रुप के सदस्यों के लिए होती है। इसके डाटा पर कुछ चुनिंदा लोगो का एक्सेस होता है। आइये इसे एक उदाहरण की सहयता से समझते हैं। मान लीजिये आप एक ऑफिस में काम करते हैं तो ऑफिस के डाटा पर सिर्फ आपका और कुछ कर्मचारियों का ही एक्सेस होगा। ठीक इसी तरीके से कम्युनिटी क्लाउड कंप्यूटिंग भी काम करता है। इसमें कुछ ही लोगों की डाटा तक पहुँच होती है।
- हाइब्रिड क्लाउड कंप्यूटिंग (Hybrid Cloud Computing) – हाइब्रिड क्लाउड में पब्लिक क्लाउड और प्राइवेट क्लाउड दोनों का एक साथ इस्तेमाल किया जाता है, इसका उदहारण वो वेबसाइट हैं जहँ कुछ डाटा तो सार्वजनिक रूप से उपलब्ध होता है पर कुछ डाटा को एक्सेस करने के लिए लॉगिन करना आवश्यक होता है। ऐसे वेबसाइट में हाइब्रिड क्लाउड कंप्यूटिंग का इस्तेमाल किया जाता है।
क्लाउड कंप्यूटिंग के लाभ (advantages of cloud computing in hindi)
1) कहीं से भी उपयोग किया जा सकता है : क्लाउड स्टोरेज प्रदान करने वाले कुछ एप्लीकेशन जैसे गूगल ड्राइव , मेगा , माइक्रोसॉफ्ट क्लाउड आदि से आप कभी भी अपनी फाइल्स को विश्व के किसी भी कोने से एक्सेस कर सकते हैं। आज के समय में लोग इसका इस्तेमाल बड़ी तेज़ी के साथ कर रहे हैं। आप को अपने डाटा को एक्सेस करने के लिए कुछ चाहिये तो बस इंटरनेट, आप अपना डाटा किसी भी डिवाइस से एक्सेस कर पाएंगे।
2) ज्यादा स्टोरेज मिलती है : हमेशा से लोगों के पास स्टोरेज की कमी रहती है। इसके चलते लोग अपना डाटा किसी एक्सटर्नल ड्राइव या मेमोरी कार्ड में सेव करते हैं। ऐसे में क्लाउड स्टोरेज उन सभी लोगों के लिए वरदान जैसा ही है। इससे आप अपने महत्वपूर्ण डॉक्यूमेंट संभल कर ऑनलाइन सेव रख सकते हैं। और जब इसकी जरुरत हो तब इसका उपयोग भी कर सकते हैं।
3) सेटअप आसान होता है : आप कुछ ही पलों में इसको सेटअप कर एक्स्ट्रा स्टोरेज का लाभ उठा सकते हैं। इसके लिए बस आपको इसमें एक आईडी बनानी होती है। और उस आईडी का उपयोग कर एक्स्ट्रा स्टोरेज पर आप अपना एक्सेस पा सकते हैं।
4) किफायती होती हैं : क्लाउड कंप्यूटिंग अक्सर सस्ती होती है।कुछ क्लाउड सर्विस तो आपको मुफ्त में कुछ स्टोरेज दे देती है, जैसे ड्रॉपबॉक्स और गूगल ड्राइव। अगर आप क्लाउड सर्विस के लिए भुगतान करते हैं तब भी ये ज्यादा मॅहगी नहीं होती और आपको ढेर साड़ी स्टोरेज मिल जाती है।
अन्य फायदे
- क्लाउड कंप्यूटिंग हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर खरीदने में खर्च होने वाली कीमत को समाप्त करती है और ऑन साइट सर्वरों के द्वारा बिजली और बुनियादी ढांचे के प्रबंधन के लिए आईटी विशेषज्ञों की मदद करती है और इसे तेजी से जोड़ने का काम करती है।
- अधिकांश क्लाउड कंप्यूटिंग सेवाओं को स्वयं सेवा और मांग पर प्रदान किया जाता है, इसलिए कंप्यूटिंग संसाधनों की विशाल मात्रा भी मिनटों में दी जा सकती है, आमतौर पर केवल कुछ माउस क्लिक के साथ, व्यवसायों को बहुत लचीलापन प्रदान करते हैं और क्षमता से होने वाले काम को दबाते हैं।
- क्लाउड कंप्यूटिंग सेवाओं के लाभों में व्यापक रूप से स्केल करने की क्षमता शामिल है। क्लाउड कम्प्यूटिंग में हम बोलते हैं, इसका मतलब है कि सही मात्रा में आईटी संसाधनों को वितरित करना है।
- साइट डेटासेंटर पर आम तौर पर बहुत सारे रैकिंग और हार्डवेयर सेट अप, सॉफ्टवेयर पैचिंग और अन्य समय उपभोग करने वाले आईटी प्रबंधन वाले कामों की आवश्यकता होती है। क्लाउड कंप्यूटिंग इन कार्यों में से कई की आवश्यकता को हटा देती है, इसलिए आईटी टीमें अधिक महत्वपूर्ण व्यावसायिक लक्ष्यों को प्राप्त करने में समय व्यतीत कर सकती हैं।
- सबसे बड़ी क्लाउड कंप्यूटिंग सेवाएं सुरक्षित डेटासेंटर के विश्वव्यापी नेटवर्क पर चलती हैं, जिन्हें नियमित रूप से तेज़ और कुशल कंप्यूटिंग हार्डवेयर की नई पीढ़ी में अपग्रेड किया जाता है। यह एक कॉर्पोरेट डेटासेंटर पर कई फायदे प्रदान करता है, जिसमें अनुप्रयोगों के लिए कम नेटवर्क और पैमाने की अधिक अर्थव्यवस्थाएं शामिल हैं।
- क्लाउड कंप्यूटिंग डेटा बैकअप, आपदा वसूली और व्यापार निरंतरता को आसान और कम महंगी बनाती है, क्योंकि क्लाउड देने वाला नेटवर्क डाटा को कई अनावश्यक साइटों पर पारदर्शिता से दिखाया जा सकता है।
क्लाउड कंप्यूटिंग के नुकसान (disadvantages of cloud computing in hindi)
1) सुरक्षा : क्लाउड कंप्यूटिंगका उपयोग करते समय आप अपनी सारी संवेदनशील जानकारी और डाक्यूमेंट्स थर्ड पार्टी को सौंप देते हैं। तथ्य यह है कि, इन सर्वर को दुनिया में कई यूजर्स एक साथ एक्सेस कर रहे है, ऐसे मे सुरक्षा एक गंभीर मुद्दा है।
क्लाउड कंपनी के पास आपकी गोपनीय जानकारी होती हैं, और ऐसे में अगर वो आपकी जानकारी बेच दे या कोई वायरस या मैलवेयर के जरिये चुरा ले तो आपका डाटा गलत हाथों तक पहुँच सकता है।
2) गोपनीयता : क्लाउड कंप्यूटिंग इस बात का भी जोखिम होता है की कोई अनाधिकृत यूजर आपकी जानकारी को एक्सेस कर सकता है। इसे रोकने के लिए यूजर वेरिफिकेशन, डाटा एन्क्रिप्शन जैसे सुरक्षा की सहायता लेते हैं।
3) इंटरनेट : मान लीजिये आप एक ऐसी जगह में हैं जहाँ इंटरनेट की पहुँच नहीं है ऐसे में क्लाउड स्टोरेज की उपयोगिता ख़त्म हो जाती है।
क्लाउड सर्विसों के प्रकार (types of cloud services in hindi)
अधिकांश क्लाउड कंप्यूटिंग सेवाएं तीन व्यापक श्रेणियों में आती हैं: एक सेवा (IaaS) के रूप में आधारभूत संरचना, एक सेवा के रूप में मंच (Paas) और एक सेवा (SaaS) के रूप में सॉफ्टवेयर होता है।
इन्हें कभी-कभी क्लाउड कंप्यूटिंग स्टैक कहा जाता है, क्योंकि वे एक दूसरे के ऊपर बनाते हैं। यह जानकर कि वे क्या हैं और वे अलग कैसे हैं, आपके व्यापार के लक्ष्यों को पूरा करना के काम को आसान बनाते हैं।
- इंफ्रास्ट्रक्चर एज़ ए सर्विस (IaaS) – क्लाउड कंप्यूटिंग सेवाओं की सबसे बुनियादी श्रेणी है। आईएएएस के साथ, आप आईटी इंफ्रास्ट्रक्चर सर्वर और वर्चुअल मशीन (वीएम), स्टोरेज, नेटवर्क्स, ऑपरेटिंग सिस्टम क्लाउड प्रदाता से पे-ए-यू-गो आधार पर क्लाउड स्टोरेज किराए पर लेते हैं।
- प्लैटफ़ार्म एज़ ए सर्विस (PaaS) – पाएएस क्लाउड कंप्यूटिंग सेवाओं को संदर्भित करता है जो सॉफ़्टवेयर अनुप्रयोगों के विकास, परीक्षण, वितरण और प्रबंधन के लिए ऑन-डिमांड वातावरण प्रदान करते हैं। Paas को डेवलपर्स के लिए सर्वर, स्टोरेज, नेटवर्क और विकास के लिए आवश्यक ड़ाटाबेस के अंतर्निहित आधारभूत संरचना को स्थापित करने या प्रबंधित करने के बारे में चिंता किए बिना, वेब या मोबाइल ऐप्स को सही तरीके से बनाने के लिए और आसान बनाने के लिए डिज़ाइन किया गया है।
- सॉफ्टवेयर एज़ ए सर्विस (SaaS) – सास इंटरनेट पर, अनुप्रयोगों पर, आमतौर पर सदस्यता के आधार पर सॉफ्टवेयर अनुप्रयोगों को वितरित करने का एक तरीका है। सास के साथ, क्लाउड प्रदाता सॉफ़्टवेयर एप्लिकेशन और अंतर्निहित आधारभूत संरचना होस्ट और प्रबंधित करते हैं और सॉफ़्टवेयर अपग्रेड और सुरक्षा पैचिंग जैसे किसी भी रखरखाव को संभालते हैं। उपयोग करने वाले लोग इंटरनेट पर एप्लिकेशन से कनेक्ट होते हैं, आमतौर पर अपने फोन, टैबलेट या पीसी पर एक वेब ब्राउज़र के साथ इसका इस्तेमाल करते हैं।
क्लाउड कंप्यूटिंग के विषय में यदि आपका कोई भी सवाल या सुझाव है, तो आप उसे नीचे कमेंट में लिख सकते हैं।