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भारत के प्रधानमन्त्री नरेन्द्र मोदी

भारत में नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में कैबिनेट में करतारपुर परियोजना का प्रस्ताव पारित किया गया था। इस शुभारम्भ में नरेन्द्र मोदी का भरसक प्रयास है। अमेरिका के सिख समुदाय ने पंजाब में करतारपुर गलियारे के शिलान्यास पर नरेन्द्र मोदी के प्रति आभार व्यक्त किया है।

अमेरिका में सिखों के संगठन ने प्रधानमन्त्री के संबोधन में लाये प्रस्ताव में कहा कि भारत के सिख समुदाय के सपने करतारपुर गलियारे नींव रखने के लिए सिख समुदाय नरेन्द्र मोदी और उनकी सरकार का शुक्रिया करते हैं। भारत ने करतारपुर गलियारे का शिलान्यास समारोह 26 नवम्बर 2018 को आयोजित किया था।

नरेन्द्र मोदी का अभिवादन करते सिख

प्रस्ताव में बताया कि पाकिस्तान में भी करतारपुर गलियारे के नींव रखी गयी थी। उन्होंने कहा कि विश्व में सिखों को अप्रत्याशित तीर्थ यात्रा की उम्मीद है। इस प्रस्ताव की एक प्रति को वांशिगटन में स्थित भारतीय दूतावास के वरिष्ठ अधिकारी को भी दी गयी है। इस समारोह का आयोजन अमेरिकी सिखों ने किया था।

अमेरिको सिखों के प्रमुख जसदीप सिंह ने कहा कि पिछले कुछ महीनों से भारत और विदेशी सिख समुदाय द्वारा अच्छी खबरे आ रही है। उन्होंने उम्मीद जताते हुए कहा कि भारत में साल 1984 में हुए दंगों में शामिल राजनेताओं को भी जल्द सज़ा होगी।

जसदीप सिंह ने कहा कि इस सुरंग के अंत में हम एक रौशनी की आस में हैं, अभी बहुत करना शेष है। उन्होंने कहा कि आगामी महीनों और हफ़्तों में साल 1984 में हुए दंगों में शामिल राजनेताओं को न्यायिक प्रक्रिया में लाया जायेगा।

उन्होंने कहा कि सरकार अपनी वाजी चिंताओं पर ध्यान दे रही है, साथ ही वीजा ब्लैकलिस्ट से कई सिखों को हटायेंगे।

करतारपुर सीमा की नींव

पाकिस्तान में स्थित करतारपुर साहिब गुरुद्वारा में सिखों के लिए वीजा मुक्त दर्शन के कारण करतारपुर गलियारे का निर्माण किया जा रहा है। सिख धर्म के संस्थापक गुरु नानक देव ने इसी पवित्र स्थल पर अपने जीवन के अंतिम 18 वर्ष व्यतीत किये थे।

पकिस्तान में करतारपुर गलियारे का शिलान्यास समारोह का आयोजन 28 नवम्बर को आयोजित किया गया था। इस समारोह में भारत के दो केंद्रीय सिख मंत्री हरसिमरत कौर बदल और हरदीप सिंह पुरी और पंजाब प्रांत के मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू शरीक हुए थे।

By कविता

कविता ने राजनीति विज्ञान में स्नातक और पत्रकारिता में डिप्लोमा किया है। वर्तमान में कविता द इंडियन वायर के लिए विदेशी मुद्दों से सम्बंधित लेख लिखती हैं।

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